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दिल के मरीजों को कुछ इस तरह बेहतर करेगा 'अवतार'

सेव एप में 'कोरा' नाम की डिजिटल नर्स का इस्तेमाल किया गया है। जो हृदयघात के लक्षणों की पहचान करने और लक्षण दिखने पर क्या करना चाहिए, इसकी जानकारी देगी।

By Jagran News NetworkEdited By: Published: Mon, 11 Jun 2018 05:35 PM (IST)Updated: Mon, 11 Jun 2018 06:11 PM (IST)
दिल के मरीजों को कुछ इस तरह बेहतर करेगा 'अवतार'
दिल के मरीजों को कुछ इस तरह बेहतर करेगा 'अवतार'

मेलबर्न, प्रेट्र : अक्सर लक्षण दिखने के कुछ घंटों के भीतर ही हृदयाघात होता है और अस्पताल पहुंचने में हुई देरी के कारण मृत्यु हो जाती है। सही समय पर अस्पताल पहुंचाकर हृदय रोगियों की मृत्यु दर को आधा किया जा सकता है। यह तभी संभव है जब लक्षणों का सही समय पर पता लग जाए। 'सेव' एप की डिजिटल नर्स ऐसे मामलों में लोगों की सहायता कर सकती है।

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ऑस्ट्रेलिया की फ्लिं‌र्ड्स यूनिवर्सिटी ने 'अवतार' आधारित यह एप विकसित किया है। अवतार किसी व्यक्ति के डिजिटल रूप को कहते हैं जो यूजर से बातचीत कर सकता है। सेव एप में 'कोरा' नाम की डिजिटल नर्स का इस्तेमाल किया गया है। कोरा आपको हृदयघात के लक्षणों की पहचान करने और लक्षण दिखने पर क्या करना चाहिए, इसकी जानकारी देगी।

इस एप का परीक्षण हार्ट अटैक से बचे दस मरीजों पर किया गया। फिर 70 मरीजों ने ट्रायल के तौर पर छह महीनों के लिए एप का इस्तेमाल किया। इस दौरान पता लगाया गया कि प्रतिभागियों ने कितनी बार एंबुलेंस बुलाई या अस्पताल में भर्ती हुए। 

शोध के अनुसार एप इस्तेमाल करने वालों ने लक्षण दिखने पर अन्य के मुकाबले अधिक बार एंबुलेंस बुलाई। इसके अतिरिक्त जहां सामान्य मरीज औसतन 6.4 दिन के लिए अस्पताल में भर्ती हुए वहीं एप यूजरों को केवल 3.6 दिन तक ही अस्पताल में रहना पड़ा। हार्ट अटैक के लक्षणों को लेकर भी एप यूजरों की जानकारी अन्य के मुकाबले ज्यादा बढ़ी।


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