अमेरिका और ईरान ने मुक्त किए एक-दूसरे के नागरिक, स्विट्जरलैंड ने निभाई मध्यस्थ की भूमिका
रिश्तों में तल्खी और तनाव पैदा करने वाले बयानों और प्रतिबंधों से इतर अमेरिका और ईरान ने अएक-दूसरे के नागरिकों को आजाद किया।
दुबई, रायटर। अमेरिका और ईरान के रिश्तों में तल्खी और तनाव पैदा करने वाले बयानों और प्रतिबंधों से इतर भी 'कुछ' चल रहा है। इसी का नतीजा है कि शनिवार को दोनों देशों ने अपने यहां कैद एक-दूसरे के नागरिकों को आजाद किया। राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के कार्यकाल में कैदियों की ऐसी अदला-बदली की घटना अप्रत्याशित मानी जा रही है। ट्रंप 2015 में अपने चुनाव प्रचार के समय से ही ईरान के खिलाफ लगातार आग उगलते रहे हैं। कुछ महीने पहले हालात युद्ध वाले भी बन गए थे।
स्विट्जरलैंड सरकार की मदद के लिए धन्यवाद
ट्रंप ने बताया कि अमेरिकी नागरिक शीयू वांग को ईरान से मुक्त किया गया है। जासूसी करने के आरोप में पकड़ा गया बीजिंग में जन्मा वांग तीन साल से ईरानी जेल में कैद था। जबकि अमेरिका ने ईरानी नागरिक मसूद सुलेमानी को जेल से मुक्त किया है। स्विट्जरलैंड ने कैदियों की अदला-बदली में बिचौलिये की भूमिका निभाई। ईरान के विदेश मंत्री मुहम्मद जवाद जरीफ ने ज्यूरिच में अमेरिका से मुक्त होकर आए सुलेमानी का स्वागत किया। सुलेमानी के रविवार तक ईरान पहुंचने की संभावना है। व्हाइट हाउस के अनुसार राष्ट्रपति ट्रंप ने सुलेमानी के बारे में कुछ नहीं बोला है। लेकिन वांग की रिहाई में स्विट्जरलैंड सरकार की मदद के लिए उसे धन्यवाद दिया है।
ईरान के विदेश मंत्री ने कैदी के साथ फोटो डाली
ट्रंप ने कहा है कि कैद अमेरिकी की आजादी उनके प्रशासन के लिए बहुत महत्वपूर्ण है। विदेशी जेलों में झूठे आरोपों में बंद अमेरिकी नागरिकों की रिहाई के लिए हम अपने प्रयास जारी रखेंगे। जबकि जवाद जरीफ ने सुलेमानी के साथ अपनी फोटो ट्विटर पर डाली हैं। जरीफ ने ट्वीट किया है- खुशी की बात है कि प्रोफेसर मसूद सुलेमानी और शीयू वांग जल्द ही अपने परिवारों से मिलेंगे। स्विट्जरलैंड की सरकार समेत उन सभी को बहुत धन्यवाद जिन्होंने इस कार्य में सहयोग दिया।
जासूसी का दोषी मानते हुए सुनाई दस साल के कारावास की सजा
ईरानी समाचार एजेंसी इरना ने कहा है कि वांग को इस्लाम धर्म में व्याप्त दया की भावना के तहत रिहा किया गया है। अमेरिका के प्रिंस्टन विश्वविद्यालय से ग्रेजुएट वांग को 2017 में ईरानी अदालत ने जासूसी का दोषी मानते हुए दस साल के कारावास की सजा सुनाई थी। वांग और उसके परिजनों का कहना है कि वह शोध कार्य के सिलसिले में ईरान गया था। जबकि ईरान के प्रोफेसर सुलेमानी स्टेम सेल एक्सपर्ट हैं। उन्हें 2018 में शिकागो एयरपोर्ट से तब गिरफ्तार किया गया था जब वह जीव विज्ञान में काम आने वाला कुछ सामान ईरान भेज रहे थे। यह ईरान पर लगे अमेरिकी प्रतिबंधों का उल्लंघन था।
उल्लेखनीय है कि स्विट्जरलैंड का राजदूत ईरान में अमेरिका के प्रतिनिधि के रूप में भी कार्य करता है। यह व्यवस्था ईरान में 1979 में हुई इस्लामी क्रांति के समय से ही चल रही है। तब अमेरिका और ईरान ने आपसी कूटनीतिक रिश्ते खत्म कर लिए थे।