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चीन में बड़ा हादसा, नाव पलटने से 8 लोगों की मौत; 7 लापता

चीन से एक दुखद खबर सामने आई है। यहां पर एक नाव पलटने से 8 लोगों की मौत हो गई है जबकि 7 लोग लापता है। दक्षिण पश्चिम चीन के गुइझोऊ प्रांत में एक यात्री नाव नदी में पलटी है। पढ़ें सभी जरूरी अपडेट।

By Pooja SinghEdited By: Published: Sun, 19 Sep 2021 12:10 PM (IST)Updated: Sun, 19 Sep 2021 12:10 PM (IST)
चीन में बड़ा हादसा, नाव पलटने से 8 लोगों की मौत; 7 लापता
चीन में बड़ा हादसा, नाव पलटने से 8 लोगों की मौत; 7 लापता

बीजिंग, पीटीआइ। चीन से एक दुखद खबर सामने आई है। यहां पर एक नाव पलटने से 8 लोगों की मौत हो गई है जबकि 7 लोग लापता है। दक्षिण पश्चिम चीन के गुइझोऊ प्रांत में एक यात्री नाव नदी में पलटी है। सरकारी समाचार एजेंसी सिन्हुआ की रिपोर्ट के अनुसार, दुर्घटना शनिवार को स्थानीय समयानुसार शाम 4:50 बजे लिउपांशुई शहर के जांगके कस्बे में जांगके नदी में हुई। रविवार सुबह 8:10 बजे तक 39 लोगों को नदी से बाहर निकाला गया  है। रिपोर्ट में कहा गया है कि बचाव अभियान और दुर्घटना के कारणों की जांच की जा रही है।

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उधर, पाकिस्तान और चीन के नए परमाणु समझौते से दुनिया में हथियारों की दौड़ के साथ ही संघर्ष की आशंका भी बढ़ेगी। यह समझौता भारत के लिए चिंता और चुनौतियां पैदा कर सकता है। द टाइम्स आफ इजरायल में फेबियन बासार्ट ने अपने लेख में कहा है कि यह एक खतरनाक समझौता है।

दोनों देशों में परमाणु ऊर्जा सहयोग के लिए किया समझौता

इसी साल आठ सितंबर को पाकिस्तान के एटोमिक एनर्जी कमीशन (पीएइसी) और चीन के झोंनग्यान इंजीनियरिंग कोआपरेशन ने परमाणु ऊर्जा सहयोग के लिए एक समझौता किया है। इस समझौते की रूपरेखा 20 अगस्त को हुई एक उच्चस्तरीय बैठक में बनाई गई थी। यह समझौता दस साल के लिए वैध होगा। इस समझौते के तहत परमाणु प्रौद्योगिकी के हस्तांतरण, यूरेनियम का खनन और संवर्धन, परमाणु ईंधन की आपूर्ति और अनुसंधान रिएक्टरों की स्थापना की जाएगी।

बासार्ट ने अपने लेख में इस समझौते को चीन के लिए पाकिस्तान में हथियारों का जखीरा तैयार करने की रणनीति के तौर पर माना है। यह भारत के लिए चिंता की बात हो सकती है। इस समझौते में पाकिस्तान की भविष्य में सभी परमाणु ऊर्जा संयंत्र के निर्माण और रखरखाव पर व्यापक सहयोग देने की शर्तें शामिल हैं।

फिलहाल पाकिस्तान में चार नए सयंत्र तैयार हैं। इनमें से दो कराची और दो मुजफ्फरगढ़ में बने हुए हैं। ये सभी चीन की तकनीक से ही तैयार किए गए हैं। इस समझौते के तहत अब चीन परमाणु ऊर्जा के क्षेत्र में सभी तरह से मदद करेगा। चीन और पाकिस्तान के बीच वैसे तो परमाणु सहयोग 1986 से ही चला आ रहा है। सितंबर 2021 में हुआ यह समझौता इसको और विस्तार देता है।


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