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जब अमेरिकी मीडिया ने कमला हैरिस को बता दिया उपराष्ट्रपति का प्रत्याशी

यूएस के एक प्रतिष्ठित मीडिया संगठन ने भारतीय मूल की अमेरिकी सीनेटर कमला हैरिस को डेमोक्रेटिक पार्टी की तरफ से उपराष्ट्रपति पद का प्रत्याशी बता दिया।

By Neel RajputEdited By: Published: Wed, 29 Jul 2020 04:04 PM (IST)Updated: Wed, 29 Jul 2020 04:04 PM (IST)
जब अमेरिकी मीडिया ने कमला हैरिस को बता दिया उपराष्ट्रपति का प्रत्याशी
जब अमेरिकी मीडिया ने कमला हैरिस को बता दिया उपराष्ट्रपति का प्रत्याशी

वाशिंगटन, प्रेट्र। अमेरिका के एक प्रतिष्ठित मीडिया समूह को उस समय शर्मिदगी झेलनी पड़ी, जब उसने भारतीय मूल की अमेरिकी सीनेटर कमला हैरिस को डेमोक्रेटिक पार्टी की तरफ से उपराष्ट्रपति पद का प्रत्याशी बता दिया। बता दें कि 55 वर्षीय कमला हैरिस उपराष्ट्रपति पद की प्रमुख दावेदार हैं। नवंबर में होने वाले राष्ट्रपति चुनाव में रिपब्लिकन और मौजूदा राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप (74) का मुकाबला पूर्व उपराष्ट्रपति और डेमोक्रेटिक पार्टी के जो बिडेन (77) से होगा।

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फॉक्स न्यूज के मुताबिक अपनी खबर में पोलिटिको ने लिखा, 'जो बिडेन ने 2020 चुनाव के लिए एक अगस्त को कमला हैरिस को अपनी रनिंग मेट (यानी उपराष्ट्रपति पद का प्रत्याशी) के तौर पर चुना है। यह निर्णय डेमोक्रेटिक पार्टी के नेशनल कंवेंशन से दो सप्ताह पहले लिया गया।' हालांकि जल्द ही पोलिटिको ने यह खबर अपनी वेबसाइट से हटा ली। उसने फॉक्स से न्यूज से कहा, 'हमें इस गलती के लिए और इसके कारण उत्पन्न हुए भ्रम के लिए खेद है।' इस गलत खबर को सबसे पहले हाउस माइनारिटी लीडर केविन मैककार्थी के प्रवक्ता मार्क बेडनर ने देखा। उन्होंने ट्वीट किया, 'पोलिटिको के मुताबिक सीनेटर कमला हैरिस को बिडेन ने एक अगस्त (जो आज से चार दिन बाद है) को उपराष्ट्रपति पद का प्रत्याशी चुना है।

यूएस में अवैध प्रवासियों को मतदाता सूची से बाहर रखने की तैयारी

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा मंगलवार को एक ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए गए हैं। इसके जरिए अमेरिका में अवैध रूप से घुसे प्रवासियों को मतदाता सूची से बाहर करने का प्रावधान किया गया है। राष्ट्रपति चुनाव के लिए मतदाता सूची का पुर्निरीक्षण होने वाला है।

अमेरिका जनगणना विशेषज्ञों और कानून के जानकारों के अनुसार, कानून की नजर में यह कार्रवाई संदिग्ध है। वैसे सैद्धांतिक तौर पर इससे ट्रंप की रिपब्लिकन पार्टी को लाभ मिलेगा, क्योंकि इससे अमेरिका में अवैध रूप से आए ज्यादातर अश्वेत प्रवासी मतदाता सूची से बाहर हो जाएंगे।


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