कैलिफोर्निया गवर्नर का कड़ा रुख, ट्रंप के आदेश के बावजूद राज्य में नहीं तैनात होगी सेना
हिंसक प्रदर्शन को नियंत्रित करने के लिए यहां तैनात नेशनल गार्ड के जवानों को अमेरिकी के दूसरे सबसे बड़े शहर लॉस एंजिल्स से रवाना कर दिया गया है।
लॉस एंजिल्स, एजेंसी। अमेरिका में हिंसक प्रदर्शनों के दौरान सेना की तैनाती पर अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के फैसले के विरोध का दायरा बढ़ता ही जा रहा है। इस क्रम में रविवार को कैलिफोर्निया राज्य के गवर्नर गेविन न्यूजोम ने इसकी मुखालफत की है। उन्होंने कहा कि उनका राज्य व्हाइट हाउस द्वारा सेना को तैनात करने के किसी भी प्रयास को अस्वीकार कर देगा। दो दिन पूर्व इस मामले को लेकर व्हाइट हाउस और पेंटागन के बीच टकरवा हुआ था। अब राज्यों में इसके खिलाफ आवाजें उठने लगी है। कैलिफोर्निया ने व्हाइट हाउस के खिलाफ कड़ा रुख अपनाया है।
ट्रंप की भड़काऊ धमकियों और सेना उतारने के साथ शहर में भड़की थी हिंसा
गौरतलब है कि कैलिफोर्निया के स्थानीय राजनेताओं द्वारा पुलिस सुधार शुरू करने की इच्छा जताने के बाद पिछले सप्ताह प्रदर्शनकारियों और स्थानीय अधिकारियों के बीच तनाव में भारी कमी आई थी, लेकिन राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की भड़काऊ धमकियों और सेना उतारने के साथ शहरों में हिंसा भड़क गई और भीड़ बेकाबू हो गई थी। कैलिफोर्निया की सड़कों पर लगभग एक सप्ताह तक नागरिक अधिकारियों की सहायता करने के बाद, नेशनल गार्ड के सैनिक अपने हथियारों के साथ वापस जाना शुरू कर देंगे। नेशनल गार्ड एडजुटेंट जनरल डेविड बाल्डविन के हवाले से नबीसी समाचार ने यह भी कहा कि राज्य के सभी शहरों में एक ईमेल के माध्यम से सैनिकों को बाहर निकाला जाएगा।
लॉस एंजिल्स में 11वें दिन भी विरोध प्रदर्शन का दौर जारी
पुलिस हिरासत में अफ्रीकी-अमेरिकी व्यक्ति जॉर्ज फ्लॉयड की मौत के बाद अमेरिकी के दूसरे सबसे बड़े शहर लॉस एंजिल्स में 11वें दिन भी विरोध प्रदर्शन का दौर जारी रहा। उधर, हिंसक प्रदर्शन को नियंत्रित करने के लिए यहां तैनात नेशनल गार्ड के जवानों को अब शहर से रवाना कर दिया गया है। लॉस एंजिल्स के मेयर एरिक गार्सेटी ने बताया कि रविवार की शाम को नेशनल गार्ड को शहर से रवाना किया गया, लेकिन विरोध प्रदर्शन और लूटपाट को रोकने के लिए इसकी एक टुकड़ी शहर में 10 जून तक कायम रहेगी।
सात हजार नेशनल गार्ड के जवान तैनात
पिछले सप्ताह कानून व्यवस्था और सामजिक सुरक्षा को कायम करने के लिए सात हजार नेशनल गार्ड के जवानों को लॉस एंजिल्स, सैन फ्रांसिस्को, सैक्रामेंटो और अन्य शहरों में तैनात किया गया था। हालांकि, यहां अधिकतर विरोध प्रदर्शन शांतिपूर्ण ही रहा है, लेकिन कई जगहों पर पुलिस के साथ हिंसक झड़पे हुई हैं। इस दौरान प्रदर्शनकारियों ने कई व्यावसायिक प्रतिष्ठानों में तोड़फोड़ की। स्थानीय राजनेताओं द्वारा पुलिस सुधार शुरू करने की इच्छा जताने के बाद पिछले सप्ताह प्रदर्शनकारियों और स्थानीय अधिकारियों के बीच तनाव में कमी आई थी, लेकिन राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की भड़काऊ धमकियों और सेना उतारने के साथ शहरों में हिंसा भड़क गई थी। समाचार एजेंसी सिन्हुआ की रिपोर्ट के अनुसार, कैलिफोर्निया के नेशनल गार्ड एडजुटेंट जनरल डेविड बाल्डविन से।