Move to Jagran APP

US: नेवादा प्रांत के इस कदम से संघ और राज्‍य के बीच विवाद गहराया, ट्रंप ने कहा- कोर्ट ले जाएंगे मामला

नेवादा के इस कदम से अमेरिका में संघ और राज्‍य के बीच विवाद गहरा गया है। इसकी एक बड़ी वजह यह है कि अमेरिकी राष्‍ट्रपति डोनाल्‍ड ट्रंप चुनाव में मेल से वोट देने का विरोध करते रहे हैं।

By Ramesh MishraEdited By: Published: Tue, 04 Aug 2020 07:57 AM (IST)Updated: Tue, 04 Aug 2020 11:57 AM (IST)
US: नेवादा प्रांत के इस कदम से संघ और राज्‍य के बीच विवाद गहराया, ट्रंप ने कहा- कोर्ट ले जाएंगे मामला
US: नेवादा प्रांत के इस कदम से संघ और राज्‍य के बीच विवाद गहराया, ट्रंप ने कहा- कोर्ट ले जाएंगे मामला

कार्सन सिटी, एजेंसी। अमेरिका में नवंबर में होने वाले राष्‍ट्रपति चुनाव के लिए नेवादा प्रांत के नागरिक मेल के जरिए अपना वोट दे सकेंगे। नेवादा प्रांत के गवर्नर ने इस कानून पर हस्‍ताक्षर कर दिए हैं। नेवादा के इस कदम अमेरिका में सियासत तेज हो गई है। नेवादा के इस कदम से अमेरिका में संघ और राज्‍य के बीच विवाद गहरा गया है। इसकी एक बड़ी वजह यह है कि अमेरिकी राष्‍ट्रपति डोनाल्‍ड ट्रंप चुनाव में मेल से वोट देने का विरोध करते रहे हैं। उधर, अमेरिकी राष्‍ट्रपति ट्रंप ने नेवादा के इस कदम की निंदा की है। उन्‍होंने ऐलान किया है कि वह राज्‍य के फैसले के खिलाफ कोर्ट में जाएंगे। यह विधेयक राज्यपाल को एक घोषित आपातकाल के दौरान चुनाव प्रक्रियाओं को समायोजित करने के लिए राज्य के सचिव को आदेश देने की शक्ति देता है। यह राज्य सीनेट और विधानसभा दोनों के माध्यम से एक पार्टी-लाइन वोट पर पारित हुआ। सदन में इस विधेयक का डेमोक्रेट्स ने समर्थन किया और रिपब्लिकन ने इसका विरोध किया।

loksabha election banner

डेमोक्रेट और रिपब्लिकन के बीच घमासान बढ़ा 

नेवादा राज्‍य के इस फैसले के बाद यह कयास लगाया जा रहा है कि अमेरिका में डेमोक्रेट और रिपब्लिकन के बीच भी घमासान तेज हो सकता है। डेमोक्रेट ने नेवादा राज्‍य के इस कदम का समर्थन किया है। पार्टी ने अपने एक बयान में कहा है कि इस कानून से चुनाव अधिकारियों को कोरोना वायरस के कारण उत्‍पन्‍न हुई अभूतपूर्व परिस्थितियों से निपटने में मदद मिलेगी। यह प्रक्रिया बेहद सुरक्षित और सर्वसुलभ है। कोरोना महामारी के प्रसार के मद्देनजर इससे राष्‍ट्रपति चुनाव की प्रक्रिया आसन हो जाएगी। पूर्व सीनेट मेजरिटी लीडर हैरी रीड ने नेवादा प्रांत के इस फैसले की सराहना की है। उन्‍होंने कहा कि राष्‍ट्रपति ट्रंप की यह धमकी उनकी हताशा को दिखाती है। रीड ने अपने एक एक बयान में कहा कि राष्‍ट्रपति ट्रंप मुकदमे की धमकी दे रहे हैं, क्योंकि डेमोक्रेट ने लोगों को वोट देना आसान कर दिया है।

मेल इन वोटिंग का राष्‍ट्रपति ट्रंप ने किया विरोध 

बता दें कि ट्रंप लंबे समय से राष्‍ट्रपति चुनाव में मेल-इन-वोटिंग की मुखालफत करते रहे हैं। वह लगातार कहते आए हैं कि यह अतिसंवेदशील है। इसमें धोखाधड़ी की ज्‍यादा चांस है। ट्रंप ने सुझाव दिया था कि मेल इन वोटिंग से राष्‍ट्रपति चुनाव में विदेशी हस्‍तक्षेप के अनायास अवसर पैदा होंगे। विदेशी हस्‍तक्षेप अमेरिका के खतरनाक होगा। उन्‍होंने कहा डेमोक्रेट मतदान में विदेशी प्रभाव की बात करते हैं, लेकिन वे जानते हैं कि मले इन वोटिंग से अन्‍य देशों को चुनाव में हस्‍तक्षेप करने का एक आसान तरीका मिल जाएगा। ट्रंप ने कहा कि डाक मतदान के परिणाम और भयावह हो सकते हैं। इसके भयावह परिणाम अमेरिका पूर्व में देख चुका है। ट्रंप ने कहा कि जून में न्यूयॉर्क ने मतदाताओं को पार्टी के राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार के लिए डेमोक्रेटिक प्राथमिक चुनाव में वोट देने की अनुमति दी थी, लेकिन मतपत्रों की गिनती में लंबे समय से नहीं हो पा रही है। परिणाम अभी भी अज्ञात है। 

राष्‍ट्रपति के पास नहीं चुनाव स्‍थगित करने का अधिकार 

बता दें अमेरिकी संविधान के अनुसार राष्‍ट्रपति ट्रंप को स्वयं चुनाव स्थगित करने का अधिकार नहीं है। राष्‍ट्रपति चुनाव को टालने के लिए कांग्रेस का अनुमोदन लेना अनिवार्य है। बिना कांग्रेस के अनुमोदन के राष्‍ट्रपति चुनाव को स्‍थगित या तय समय सीमा को नहीं बढ़ा सकते हैं। राष्ट्रपति के पास कांग्रेस के दोनों सदनों में प्रत्यक्ष शक्ति नहीं है। गौरतलब है कि अमेरिका में राष्‍ट्रपति चुनाव इस साल नवंबर में होने हैं। रिपब्लिकन और डेमोकेट्स दोनों पार्टियां अपने-अपने राष्ट्रपति उम्मीदवार को चुनने के लिए वोट कर रही हैं। रिपब्लिकन की तरफ से तकरीबन ये तय है कि डोनाल्ड ट्रंप राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार होंगे। 


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.