Apollo50th: चंद्रमा पर पहले सफल मानव अभियान के 50 साल पूरे
अंतरिक्ष यात्री एडविन एल्डि्रन (89) और माइकल कोलिंस (88) ने अपोलो-11 की 50वीं वर्षगांठ के जश्न की शुरुआत की जो एक हफ्ते तक जारी रहेगा।
केप केनवेरेल, एएफपी। आज से ठीक 50 साल पहले 16 जुलाई, 1969 को चंद्रमा पर पहले सफल मानव अभियान अपोलो-11 को रवाना किया गया था। इस मौके पर उस अभियान में शामिल अमेरिकी अंतरिक्ष यात्री फिर केनेडी स्पेस सेंटर स्थित उस प्रक्षेपण स्थल पर इकट्ठा हुए जहां से उनके यान ने चांद की ओर उड़ान भरी थी।
मंगलवार को इस कार्यक्रम में अंतरिक्ष यात्री एडविन एल्डि्रन (89) और माइकल कोलिंस (88) ने अपोलो-11 की 50वीं वर्षगांठ के जश्न की शुरुआत की जो एक हफ्ते तक जारी रहेगा।
अपोलो-11 के कमांडर और चांद की जमीन पर पहला कदम रखने वाले नील आर्मस्ट्रांग का 2012 में निधन हो गया था। लिहाजा इस कार्यक्रम में सबकी नजरें एल्डि्रन पर ही टिकी थीं, जो नील के बाद चंद्रमा पर उतरे थे। चंद्रमा पर अब तक केवल 12 लोग उतरे हैं जिनमें से अब चार ही जीवित हैं। अमेरिकी यान को चंद्रमा पर पहुंचने में चार दिन लगे थे। 20 जुलाई, 1969 को यान चंद्रमा की सतह पर उतरा था।
जिसके बाद नील चंद्रमा की सतह पर उतरने वाले दुनिया के पहले और एडविन दूसरे व्यक्ति बने थे। कोलिंस 'कोलंबिया' नामक मुख्य यान में ही रुके रहे थे। इसी यान से तीनों धरती पर वापस लौटे थे। अपोलो-11 किसी आकाशीय पिंड पर मानव को उतारने का पहला अभियान था जिसकी सफलता ने अंतरिक्ष विज्ञान के क्षेत्र में नया कीर्तिमान रच दिया।
1972 के बाद नहीं भेजा गया कोई मानव अभियान
1972 में अपोलो अभियान समाप्त होने के बाद अमेरिका तो क्या किसी भी देश ने चंद्रमा पर मानव अभियान नहीं भेजा। 1989 में राष्ट्रपति जॉर्ज बुश और 2004 में जॉर्ज डब्ल्यू बुश ने चांद के साथ ही मंगल पर भी मानव अभियान भेजने का वादा किया था। लेकिन दोनों ही अपने वादे को को मूर्त रूप नहीं दे पाए।
2017 में राष्ट्रपति बनने के बाद डोनाल्ड ट्रंप ने चंद्रमा और मंगल पर मानव अभियान भेजने का कार्यक्रम दोबारा शुरू किया। कुछ महीने पहले उन्होंने नासा को किसी भी हाल में 2024 तक चंद्रमा पर मानव अभियान भेजने का अल्टीमेटम भी दे दिया था।