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West Bengal Assembly Election 2021: मंच से चंडीपाठ कर ममता ने नंदीग्राम में फूंका बिगुल, कहा- हमें न सिखाएं हिंदुत्व

हुंकार- बोलीं ममता- अपना नाम भूल सकती हूं नंदीग्राम नहीं आज नंदीग्राम से नामांकन पत्र दाखिल करेंगी ममता उससे पहले बूथ कार्यकर्ताओं को किया संबोधित। बतौर मॉडल नंदीग्राम विकसित करने का भी किया वादा। 11 मार्च को चुनावी घोषणापत्र जारी करेंगी ममता बनर्जी।

By Vijay KumarEdited By: Published: Tue, 09 Mar 2021 05:59 PM (IST)Updated: Tue, 09 Mar 2021 10:39 PM (IST)
West Bengal Assembly Election 2021: मंच से चंडीपाठ कर ममता ने नंदीग्राम में फूंका बिगुल, कहा- हमें न सिखाएं हिंदुत्व
Politics : मुख्यमंत्री ने कहा, आप लोग कहेंगे तो ही नामांकन कराउंगी मैं।

राज्य ब्यूरो, कोलकाता : West Bengal Assembly Election 2021 बंगाल चुनाव में नंदीग्राम विधानसभा सीट से चुनाव लडऩे का ऐलान कर चुकीं मुख्यमंत्री ममता बनर्जी बुधवार को यहां से नामांकन पत्र दाखिल करेंगी। इससे एक दिन पहले मंगलवार को नंदीग्राम पहुंचकर ममता ने यहां पार्टी के 10 हजार से ज्यादा बूथ कार्यकर्ताओं के साथ संवाद करते हुए उन्हें संबोधित किया। इस दौरान चुनावी बिगुल फूंकते हुए ममता ने भाजपा व सुवेंदु अधिकारी के खिलाफ जमकर हुंकार भरीं। उन्होंने नंदीग्राम आंदोलन व अपने संघर्ष को दोहराया। ममता ने कहा कि सिंगूर के बाद नंदीग्राम का ही आंदोलन हुआ था। मैं गांव की बेटी हूं। नंदीग्राम के दौरान मुझ पर बहुत से अत्याचार हुए थे। मैं अपना नाम भूल सकती हूं, लेकिन नंदीग्राम नहीं। 

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बतौर मॉडल नंदीग्राम विकसित करने का भी किया वादा 

वहीं, मंच से ही चंडीपाठ करते हुए ममता ने कहा कि मैं भी हिंदू हूं, कोई मुझे हिंदुत्व न सिखाए। उन्होंने चुनौती दी कि मेरे साथ हिंदू कार्ड खेलने की कोशिश मत करो। ममता मंगलवार को नंदीग्राम में दो मंदिरों में भी जाकर पूजा अर्चना की। उन्होंने कहा कि मुझे नंदीग्राम आने से रोका गया था। यदि उस दौर में नंदीग्राम की मां और बहनें आगे न आतीं तो नंदीग्राम आंदोलन नहीं होता। ममता ने नंदीग्राम को मॉडल नंदीग्राम के तौर पर विकसित करने का भी वादा किया। 

क्यों नंदीग्राम सीट चुनीं, इसका भी ममता ने किया खुलासा

इस दौरान ममता ने यह भी खुलासा कि आखिर उन्होंने नंदीग्राम सीट से चुनाव लडऩे का फैसला क्यों किया। ममता ने कहा- मैं चाहती तो भवानीपुर सीट से ही लड़ सकती थीं, लेकिन जब नंदीग्राम के विधायक (सुवेंदु अधिकारी) ने इस्तीफा दे दिया था तो यहां एक रैली में मैंने आप लोगों से जानने की कोशिश की थी क्या मैं नंदीग्राम से लड़ सकती हूं? आप लोगों ने हां कह दिया तो मैंने लडऩे का फैसला लिया।

आप लोग कहेंगे तो ही नामांकन कराउंगी मैं : मुख्यमंत्री

ममता ने यह भी कहा कि सिंगुर और नंदीग्राम आंदोलन की भूमि है। इसीलिए मैंने मन बना लिया था कि मैं इस बार या तो सिंगूर से या फिर नंदीग्राम से चुनाव लड़ूंगी। नंदीग्राम की सीट खाली हो गई थी, इसलिए यहां से लडऩे का फैसला किया। उन्होंने लोगों से कहा कि यदि आप लोग मुझे कहेंगे कि मुझे यहां से लडऩा चाहिए तभी मैं कल (बुधवार) नामांकन कराऊंगी। इस सीट पर ममता का मुकाबला तृणमूल छोड़कर भाजपा में शामिल होने वाले कद्दावर नेता सुवेंदु अधिकारी के साथ हैं।

सियासी सवाल पर पूछा- बंगाल की बेटी बाहरी कैसे हो गईं

ममता ने नंदीग्राम से चुनाव लडऩे पर सुवेंदु द्वारा उन्हें बाहरी कहे जाने पर भी पलटवार किया। उन्होंने कहा कि मैं बंगाल की बेटी हूं, बाहरी कैसे हो सकती हूं। आप नहीं चाहेंगे तो मैं नंदीग्राम से नहीं लड़ूंगी। ममता ने यह भी कहा कि यदि मैं बाहरी हूं तो क्या गुजरात व राजस्थान के गुंडे यहां से चुनाव लड़ेंगे। ममता ने यह भी वादा किया कि मैं अब हर तीन महीने में नंदीग्राम आऊंगी। साथ ही उन्होंने कहा कि एक अप्रैल को यहां वोटिंग होगी। लोगों से उन्होंने अपील की कि उनका (भाजपा) अप्रैल फूल कर दीजिएगा।

11 मार्च को चुनावी घोषणापत्र जारी करेंगी ममता बनर्जी 

ममता ने इस दौरान 11 मार्च को शिवरात्री के दिन पार्टी का चुनावी घोषणापत्र (मेनिफेस्टो) जारी करने का भी ऐलान किया। उन्होंने कहा कि वह 10 मार्च, बुधवार को हल्दिया में पर्चा दाखिल करेंगी। इसके बाद वापस नंदीग्राम आएंगी। कोलकाता में घोषणापत्र जारी होने से पहले नंदीग्राम में ही वह भोलेनाथ की पूजा करेंगी।


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