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West Bengal: कोलकाता में हवाला ऑपरेटर इनामुल हक के 11 ठिकानों पर ईडी की छापेमारी

Hawala Operator Inamul Haq. ईडी ने पश्चिम बंगाल के कोलकाता में हवाला ऑपरेटर इनामुल हक के 11 ठिकानों पर छापेमारी की।

By Sachin Kumar MishraEdited By: Published: Mon, 13 Jan 2020 02:22 PM (IST)Updated: Mon, 13 Jan 2020 02:31 PM (IST)
West Bengal: कोलकाता में हवाला ऑपरेटर इनामुल हक के 11 ठिकानों पर ईडी की छापेमारी

कोलकाता, एएनआइ। Hawala Operator Inamul Haq. प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) सोमवार को पश्चिम बंगाल के कोलकाता में हवाला ऑपरेटर इनामुल हक के 11 ठिकानों पर छापेमारी की है। 

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रोज वैली चिटफंड घोटाले में प्रवर्तन निदेशालय के पहले जांच अधिकारी को सीबीआई ने किया तलब

इस बीच, हजारों करोड़ों रुपये के रोज वैली चिटफंड घोटाले में केंद्रीय जांच एजेंसी सीबीआइ ने प्रवर्तन निदेशालय के पहले जांच अधिकारी मनोज कुमार को पूछताछ के लिए तलब किया है।

सीबीआइ के मुताबिक, जांच के दौरान उन्होंने रोज वैली ग्रुप के मुखिया गौतम कुंडू का फोन क्यों नहीं जब किया, जबकि मनोज कुमार का कहना है कि उन्हें इस बारे में कोई जानकारी नहीं है।

नारदा स्टिंग मामले में जानकारी साझा करेगी ईडी व सीबीआइ

नारद स्टिंग मामले की अलग-अलग जांच कर रहे प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) और केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआइ) इस मामले की जांच के बारे में एक दूसरे के साथ जानकारी साझा करेंगे। जांच से जुड़े एक वरिष्ठ अधिकारी ने गुरुवार को इसकी जानकारी दी। अधिकारी ने बताया कि ईडी ने सीबीआइ से यह भी साझा करने का आग्रह किया है कि क्या मामले में कोई चार्जशीट दायर की गई है या एजेंसी ने आरोपितों में से किसी के खिलाफ मुकदमा चलाने की अनुमति मांगी है।

ईडी के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि पहले ईडी ने सीबीआइ के साथ अपने जांच के साक्ष्य साझा किए और अब सीबीआइ से भी ऐसा करने का अनुरोध किया गया है। उन्होंने कहा कि दो केंद्रीय एजेंसियों द्वारा संयुक्त रूप से इस मामले की जांच की जा रही है और ऐसे में जांच के हित में एक दूसरे के साथ जानकारी साझा करना एक सामान्य प्रक्रिया है। अधिकारी के अनुसार, मनी लांड्रिंग के पहलुओं की जांच सीबीआइ द्वारा की गई जांच पर निर्भर है।

उल्लेखनीय है कि यह स्टिंग ऑपरेशन 2014 में किया गया था जिसमें सत्ताधारी तृणमूल के कुछ वरिष्ठ नेताओं जिसमें मंत्री, सांसद व विधायक शामिल थे के अलावा एक आइपीएस अधिकारी को एक काल्पनिक कंपनी को मदद के बदले पैसे लेते देखा गया है। 2016 में बंगाल विधानसभा चुनाव से ठीक पहले इस स्टिंग के सामने आने के बाद राज्य की राजनीति में हंगामा मच गया था। इस मामले में अब तक एक मात्र आरोपित आइपीएस अधिकारी एसएमएच मिर्जा हैं जिन्हें गिरफ्तार किया गया था। हालांकि बाद में उन्हें जमानत मिल गई। मिर्जा जब ब‌र्द्धमान जिले के पुलिस अधीक्षक थे, उसी दौरान नारद समाचार पोर्टल के सीइओ मैथ्यू सैमुअल द्वारा स्टिंग ऑपरेशन किया गया था।

इस मामले में आरोपित तृणमूल कांग्रेस के कुछ नेताओं- मंत्री फिरहाद हकीम, मंत्री शुभेंदु अधिकारी, पूर्व मंत्री मदन मित्रा व शोभन चटर्जी से ईडी व सीबीआइ दोनों ही जांच एजेंसी पूछताछ कर चुकी है। सीबीआइ घोटाले के सिलसिले में वरिष्ठ तृणमूल सांसद सौगत राय से भी पूछताछ कर चुकी है। इसके अलावा सीबीआइ भाजपा नेता मुकुल रॉय से भी पूछताछ कर चुकी है, जिनका नाम भी नारद मामले के आरोपियों की सूची में शामिल है। तब वह तृणमूल कांग्रेस में थे। मुकुल नवंबर 2017 में भाजपा में शामिल हो गए थे।

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