Move to Jagran APP

West Bengal Lockdown Effect: व्यापारियों के निकाय ने पीएम को वित्तीय संकट से निपटने के सुझाए उपाय

व्यापारियों के निकाय ने पीएम को वित्तीय संकट से निपटने के सुझाए उपाय-ई-कॉमर्स कंपनियों को 5000 रुपये से अधिक के उत्पाद बेचने की अनुमति नहीं दी जानी चाहिए

By Preeti jhaEdited By: Published: Wed, 27 May 2020 08:34 AM (IST)Updated: Wed, 27 May 2020 08:34 AM (IST)
West Bengal Lockdown Effect: व्यापारियों के निकाय ने पीएम को वित्तीय संकट से निपटने के सुझाए उपाय

कोलकाता, राज्य ब्यूरो। व्यापारियों के एक राष्ट्रीय निकाय ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिखा है, जिसमें कोरोनोवायरस को लेकर लागू किए गए लॉकडाउन के कारण उत्पन्न संकट से निपटने के लिए उपाय सुझाए हैं, जिसमें ई-कॉमर्स बिक्री के मूल्य पर एक कैप लगाना और उद्योग आधार कार्ड एक्सेस देना शामिल है।

loksabha election banner

अखिल भारतीय व्यापार मंडल महासंघ ने कहा कि इसने 17 राज्यों में अपने प्रतिनिधियों से बैठक के बाद पीएम के हस्तक्षेप की मांग की। प्रधानमंत्री को लिखे पत्र में कहा गया कि ई-कॉमर्स कंपनियों को 5,000 रुपये से अधिक के उत्पाद बेचने की अनुमति नहीं दी जानी चाहिए।

व्यापार मंडल के राष्ट्रीय सचिव वी के बंसल ने कहा, यह प्रावधान इलेक्ट्रॉनिक सामान, मोबाइल फोन, कंप्यूटर और लैपटॉप के व्यापारियों के लिए अत्यंत आवश्यक है, जिनके कारोबार में ई-कॉमर्स सेगमेंट की वजह से भारी गिरावट आई है। पत्र में यह भी कहा गया है कि व्यापारियों को सेवा प्रदाताओं का दर्जा दिया जाना चाहिए और छोटे और सूक्ष्म व्यापार / सेवा प्रदाताओं को 6 प्रतिशत के उचित ब्याज पर दिए गए ऋण का लाभ उठाने के लिए उद्योग आधार कार्ड के लिए आवेदन करने की अनुमति दी गई है।

व्यापार मंडल ने एकल बिंदु जीएसटी प्रणाली की शुरुआत का विरोध किया, जिसके तहत पूरी कर राशि निर्माताओं के अंत में प्रचलित दरों पर एकत्र की जाती है। व्यापार मंडल मंडल के पूर्वी क्षेत्र के संयोजक सुशील पोद्दार ने कहा, लॉकडाउन के कारण, गोदामों में बहुत सारे सामान महीनों से स्टॉक किए गए हैं और अपनी मूल गुणवत्ता खो रहे हैं, जिसके कारण उन्हें खरीद मूल्य से कम पर बेचा जा रहा है। सरकार को व्यापारियों को जीएसटी की अधिकता वापस करनी चाहिए। 


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.