विधानसभा चुनाव को लेकर अमित शाह ने बंगाल भाजपा के नेता मुकुल रॉय के साथ की बैठक
कद्दावर भाजपा नेता व केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह के बुलावे पर बीते सप्ताह बुधवार को ही बंगाल भाजपा के नेता मुकुल रॉय दिल्ली रवाना हो गए थे।
राज्य ब्यूरो, कोलकाता: कद्दावर भाजपा नेता व केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह के बुलावे पर बीते सप्ताह बुधवार को ही बंगाल भाजपा के नेता मुकुल रॉय दिल्ली रवाना हो गए थे। उनके साथ भाजपा नेता सब्यसाची दत्त भी दिल्ली गए थे। इसके बाद शाह ने गुरुवार और शुक्रवार को मुकुल के साथ बैठक की। कहा जा रहा है कि अगले वर्ष होने वाले विधानसभा चुनाव की तैयारियों पर उनके बीच प्रारंभिक चर्चा हुई है। बंगाल की राजनीतिक स्थिति को लेकर केंद्रीय गृहमंत्री ने मुकुल के साथ दो बार लंबी चर्चा की है। भगवा कैंप में कुछ समय से अटकलें लग रही है कि मुकुल रॉय को केंद्रीय मंत्री बनाया जा सकता है।
बंगाल भाजपा के कुछ नेताओं का मानना है कि संभवतः इस मुद्दे पर भी मुकुल की गृह मंत्री के साथ चर्चा हुई होगी। राज्य के एक शीर्ष भाजपा नेता का कहना है कि कोरोना की जो स्थिति है उसमें मुकुल रॉय को दिल्ली बुलाया जाना निश्चत रूप से कोई जरूरी कार्य होगा। यह सिर्फ अगले विधानसभा चुनाव की तैयारी को लेकर बुलावा नहीं हो सकता है। अगर एेसा कुछ होता तो प्रदेश भाजपा अध्यक्ष दिलीप घोष को भी बुलाया गया होता। हालांकि, मुकुल ने इस मुद्दे पर कुछ भी कहने से इन्कार कर दिया। सिर्फ इतना कहा कि मैंने अमितजी से दो दिन मुलाकात की। अगले विधानसभा चुनाव की तैयारियों पर चर्चा हुई है। मैं कह सकता हूं कि अमित शाह बंगाल को लेकर बहुत गंभीर हैं। राज्य भाजपा में मुकुल का महत्व कुछ हद तक बढ़ गया है।
पार्टी की नई समिति में लगभग सभी मोर्चा अध्यक्ष उनके करीबी हैं। इसके अलावा बिधाननगर नगर निगम के पूर्व मेयर सब्यसाची दत्त जो सीधे मुकुल के हाथ पकड़ कर भाजपा में शामिल हुए हैं उन्हें भी पार्टी में सचिव का पद दिया गया है। यह पूरी तरह से स्पष्ट है कि शाह अगले विधानसभा चुनावों में मुकुल के राजनीतिक अनुभव का उपयोग करना चाहते हैं। 2021 में विधानसभा चुनाव होना है, इस स्थिति में शाह चाहते हैं कि पार्टी के सब नेता बिना किसी देरी के कमर कस कर जमीन पर उतर जाएं। पिछले मंगलवार को ही अमित शाह ने वर्चुअल रैली की थी। भाजपा के हिस्से को लगता है कि विधानसभा चुनाव की रणनीति तय करने से पहले मुकुल के हाथ को और मजबूत करना होगा। क्योंकि, अगर केंद्र सरकार की कोई कुर्सी नहीं रही तो मुकुल के लिए विधानसभा चुनावों में इधर से उधर भागना आसान नहीं होगा। इस स्थिति से मुकुल के केंद्रीय मंत्री बनने की संभावना के बारे में अटकलें तेज हैं। भाजपा में कई नेताओं का मानना है कि मुकुल को गृह विभाग का राज्य मंत्री बनाया जा सकता है। इससे पुलिस प्रशासन पर उनका प्रभाव बढ़ेगा। राजनीतिक हलकों को भी लगता है कि मुकुल के साथ सब्यसाची की दिल्ली यात्रा काफी महत्वपूर्ण है। मुकुल शनिवार को कोलकाता लौटे आए हैं।