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नदी की धारा बदलने से बढ़ी छठ पूजा आयोजकों की चिंता

- माल नदी में तीन छठ पूजा कमेटियों द्वारा पूजा का होता है आयोजन संवाद सूत्र मालबाजार मा

By JagranEdited By: Published: Sat, 23 Oct 2021 05:20 PM (IST)Updated: Sat, 23 Oct 2021 05:20 PM (IST)
नदी की धारा बदलने से बढ़ी छठ पूजा आयोजकों की चिंता
नदी की धारा बदलने से बढ़ी छठ पूजा आयोजकों की चिंता

- माल नदी में तीन छठ पूजा कमेटियों द्वारा पूजा का होता है आयोजन

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संवाद सूत्र, मालबाजार: माल शहर के पूर्व प्रात से माल नदी प्रवाहित होती है। इस वर्ष माल नदी की प्रवाहित धारा छठ पूजा आयोजकों के लिए चिंता का विषय बन चुकी है। नदी का धारा विपरीत दिशा से प्रवाहित हो रही है। शहर के तीन छठ पूजा कमेटियों द्वारा माल नदी में ही पूजा का आयोजन किया जाता है लेकिन इस बार नदी की धारा की दिशा में बदलाव होने से समस्या उत्पन्न हो गई है। फिलहाल नदी बटाई गोल बस्ती से होकर प्रवाहित हो रही है। इस कारण कमेटी के लोग पूजा का आयोजन को लेकर चिंतित हैं।

माल नदी में महाकाल पाड़ा घाट पर सुलभ चेतन पंचरत्न पूजा कमेटी की ओर से छठ पूजा का आयोजन किया जाता है। इस वर्ष पूजा के आयोजन को लेकर नई कमेटी बनाई गई है। बीते शुक्रवार को कालटेक्स मोड़ स्थित बिहारी विकास समिति के कार्यालय में बैठक कर सुलभ चेतन पंचरत्न कमेटी का गठन किया गया। इस कमेटी के तत्वाधान में महाकालपाड़ा घाट पर छठ पूजा का आयोजन किया जाएगा। कमेटी में अध्यक्ष के तौर पर धमर्ेंद्र कुमार मिश्र, सचिव अजय प्रसाद और कोषाध्यक्ष गोपाल साह को नियुक्त किया गया है। धमेंद्र मिश्र ने कहा कि इस बार मान नदी की धारा दूसरी दिशा से प्रवाहित हो रहीकै। यह बिल्कुल साल के उल्टी दिशा में है। हाल के दिनों में हुई बारिश के कारण यह स्थिति उत्पन्न हुई है। वे लोग पूरे हालात पर निगरानी रख रहे हैं। कमेटी की ओर से कहा गया है कि पिछले वर्ष की तरह इस बार भी कोरोना नियमों को ध्यान में रखकर ही पूजा का आयोजन किया जाएगा। घाट पर माक्स, सैनिटाइजर समेत अन्य जरूरी चीजों की व्यवस्था की जाएगी। कमेटी की ओर से सरकारी दिशा-निर्देशों का पूरी तरह से पालन किया जाएगा। साथ ही कोरोना के चलते कुछ परिवारों को छठ पूजा को लेकर समस्या हो रही है। उन लोगों को चिन्हित कर हर प्रकार की सहायता की जाएगी। इधर, खुदीरामपल्ली छठ पूजा घाट के सदस्य रमेश गिरी ने कहा कि वे लोग भी नदी की स्थिति पर निगरानी बनाए हुए हैं। नदी के प्रवाह को ध्यान में रखकर ही पूजा का आयोजन किया जाएगा। मसलापट्टी घाट की ओर से राजू गुप्ता ने कहा कि नदी की धारा में अचानक परिर्वतन होने से चिंता बढ़ गई है। हालातों को देखकर ही पूजा का आयोजन किया जाएगा।


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