West Bengal :फांसी की सजा पाया बांग्लादेशी आतंकी सलाउद्दीन उर्फ सालेहान भारत में छिपा, पांच लाख का ईनाम
बांग्लादेशी आतंकी सलाउद्दीन उर्फ सालेहान के पश्चिम बंगाल में छुपे होने की आशंका जमात-उल-मुजाहिदीन के मुखिया पर एनआइए ने घोषित कर रखा है पांच लाख का ईनाम
कोलकाता, जागरण संवाददाता। खागरागढ़ और बोधगया जैसे कई आतंकी हमलों का मुख्य साजिशकर्ता बांग्लादेशी नागरिक सलाउद्दीन उर्फ सालेहान उर्फ संजीव उर्फ ताहिद पश्चिम बंगाल में छिपा बैठा है। वह लगातार अपना हुलिया बदल उत्तर बंगाल के कूचबिहार, उत्तर दिनाजपुर, मालदा और कभी दक्षिण बंगाल के मुर्शिदाबाद और नदिया के सीमावर्ती इलाकों में ठिकाने बदल रहा है। बांग्लादेश का यह कुख्यात आतंकी दो बार एनआइए को भी गच्चा दे चुका है। एनआइए ने पहले ही सालेहान पर पांच लाख रुपए का ईनाम घोषित कर रखा है।
बांग्लादेश में फांसी की सजा पाया यह आतंकी फिलहाल जमात-उल-मुजाहिदीन का मुखिया है। उसी ने जमात-उल-मुजाहिदीन बांग्लादेश(जेएमबी) की तर्ज पर भारत में जमात-उल-मुजाहिदीन इंडिया (जेएमआइ) जैसा संगठन तैयार किया है। उसने कूचबिहार, उत्तर दिनाजपुर, मालदा, मुर्शिदाबाद और नदिया में नया आतंकी माड्यूल भी खड़ा किया है।
दक्षिण भारत में भी फैलने की कोशिश
जेएमआइ ने दक्षिण भारत में भी पैर पसारना शुरू कर दिया है। तमिलनाडु , कर्नाटक और केरल में बांग्लाभाषी कर्मियों व मजदूरों के माध्यम से नया माड्यूल खड़ा करने की कोशिश जारी है। यह काम वहां एक और बांग्लादेशी आतंकी और खागरागढ़ विस्फोट का मुख्य आरोपी ताहिदुल इस्लाम उर्फ बोमारू मिजान उर्फ कौसर कर रहा था। खागरागढ़ विस्फोट कांड की जांच के दौरान एनआइए ने ताहिदुल इस्लाम उर्फ बोमारू मिजान उर्फ कौसर को अगस्त 2018 को बेंगलुरू से गिरफ्तार किया था।
टी एंड आर का करते हैं इस्तेमाल
उससे पूछताछ के दौरान ही एनआइए को पश्चिम बंगाल के सीमावर्ती इलाकों में सालेहान की गतिविधियों की जानकारी मिली। मिली जानकारी के अनुसार हुलिया और ठिकाने के साथ वह साथियों से संपर्क का साधन भी लगातार बदलता रहता है। फिलहाल जेएमबी और जेएमआइ के आतंकी आपस में संपर्क के लिए टी एंड आर ब्राडबैंड फोन का इस्तेमाल कर रहे हैं, जिसे ट्रेस करना नामुमकिन है। पिछले साल 24 नवंबर को बांग्लादेश की राजधारी ढाका में जेएमबी के मुखिया अबू रेहान महमूद को गिरफ्तार किया गया। बांग्लादेशी जांच एजेंसी काउंटर टेरेरिज्म स्क्वाड की पूछताछ में टी एंड आर ब्राडबैंड के इस्तेमाल का पता चला।
कई बार दिया गच्चा
एनआइए सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार बांग्लादेश सीमा से सटे कूचबिहार जिले के एक गांव में सालेहान धार्मिक शिक्षक के रूप में छिपा था। हालांकि जांच एजेंसी के पहुंचने से पहले वह अपना सारा सामान समेट वहां से चंपत हो गया। इसके बाद मुर्शिदाबाद के मुकीमनगर में एक व्यापारी के रूप में वह एक मकान में रहने लगा। एजेंसी के लोगों के वहां पहुंचने से पहले वह फिर से फरार होने में सफल हो गया। इसके बाद कूचबिहार के चेंगड़ाबांधा इलाके में उसकी तलाश में छापे मारे गए, लेकिन वह हत्थे नहीं चढ़ा। अलबत्ता उसका एक साथी दबोच लिया गया।
सउदी से आता है पैसा
उससे पूछताछ में पता चला कि सउदी अरब का एक बांग्लादेशी कारोबारी हवाला के माध्यम से आतंकियों को पैसे मुहैया करा रहा है। उसी पैसे से हथियार और गोलाबारूद खरीदे जा रहे हैं। साथ ही पश्चिम बंगाल के सीमावर्ती इलाकों में युवाओं को जेएमआइ से जोड़ने की मुहीम भी चल रही है।