कूचबिहार ग्रेटर के समर्थकोंपर छह करोड़बिजली बिल बकाया
-कूचबिहार उन्नयन फंड से बिजली का बिल काट ले प्रशासन : सुबल वर्मन -जिले के 60 हजार समर्थन न
-कूचबिहार उन्नयन फंड से बिजली का बिल काट ले प्रशासन : सुबल वर्मन
-जिले के 60 हजार समर्थन नहीं दे रहे है बिजली का बिल
संवाद सूत्र, माथाभांगा : कूचबिहार ग्रेटर पिपुल्स एसोसिएशन के हजारों समर्थक बिजली का बिल जमा नहीं कर रहे है। जिसके कारण उनपर करोड़ रूपया बकाया है। बिजली विभाग के अनुसार ग्रेटर समर्थकों पर पांच से छह लाख रूपये का बिजली का बिल बकाया है। प्रशासन भी इसे लेकर चिंतित है। संगठन का कहना है कि प्रशासन व विद्युत विभाग कूचबिहार उन्नयन फंड से हमारा बिजली का बिल ले लेवे। बिजली विभाग की ओर से जिलाधिकारी को इसकी शिकायत की गयी है।
इस संबंध में कूचबिहार ग्रेटर पिपुल्स एसोसिएशन केंद्रीय कमेटी के सदस्य सुबल वर्मन ने बताया कि कूचबिहार वासी भारत के साथ हुए समझौते के अनुसार विद्युत का बिल नहीं देंगे। इसलिए हम बिजली बिल नहीं दे रहे है। बिजली विभाग के लोग लाइन काटने के लिए आते है। लेकिन हमारा झंडा देखकर चले जाते है। हम चाहते है विभाग यह पैसा कूचबिहार उन्नयन फंड से ले लेवे। उन्होंने आगे बताया कि वर्ष 1947 में कूचबिहार के महाराजा के साथ भारत सरकार का समझौता हुआ था। इसके अनुसार 86 करोड़ रूपये कूचबिहार के लिए रखा गया था। बतादें कि कूचबिहार जिला में 50 से 60 हजार समर्थक बिजली का बिल अदा नहीं कर रहे है। संगठन के नेता ने बताया कि प्रशासन हमारे ऊपर जो करना है करे, हम इसे लेकर अदालत में देख लेंगे। बिजली विभाग को हूकिंग करने वालों के खिलाफ कार्रवाई करनी चाहिए। लेकिन वें ऐसा नहीं करते।
माथाभांगा विद्युत विभाग के स्टेशन मैनेजर महाबुल हक ने बताया कि ग्रेटर कूचबिहार के समर्थक बिजली का बिल का पैसा नहीं दे रहे है। लेकिन हम उन्हें बिल दे रहे है। लाइन काटने जाने पर कर्मचारियों को धमकी दी जाती है। इस विषय में हमने पुलिस को शिकायत भी की है।
कैप्शन : बिजली का मीटर के साथ ग्रेटर के समर्थकों का झंडा