कोरोना पर युवाओं ने गीत बनाकर ग्रामीणों को किया जागरूक
-दहेज प्रथा दुष्कर्म से लेकर रक्तदान डेंगू आदि विषयों पर विक्रम लिख चुके है गीत्र संवाद सूत्र
-दहेज प्रथा, दुष्कर्म से लेकर रक्तदान, डेंगू आदि विषयों पर विक्रम लिख चुके है गीत्र
संवाद सूत्र,कूचबिहार: कोरोना को लेकर सोशल मीडिया में बहुत सारे गीत लोग पोस्ट कर रहें है। टीक-टॉक स्टार धड़ल्ले से गीत बना रहें है। महानायक अमिताभ बच्चन की कोरोना पर कविता को उनके फैन ने खूब पसंद किया। इस क्रम में कूचबिहार के युवा ब्रिगेड भी पीछे नहीं है। फर्क इतना है कि कूचबिहार के युवा सड़क पर उतरकर ग्रामीणों को जागरूक कर रहें है। हाथों में गिटार और और मुख को मास्क से ढककर युवाओं की टोली गांव-शहर में जाकर लोगों को जागरूक करने में जुट गए है। गाना बांग्ला में है। बोल है- वायरस कोरोना, कोनोभय कोरोना, सतर्क थाकटाई निरापद भावना, जेखानेई जाव मास्क पोरे जाव, हाथ धुए खाबार खाव, ज्वर खांसी होले, देरी का करे, स्वास्थ्य केंद्र जाव।' यह नजार कूचबिहार शहर के एक नंबर वार्ड के गुंजबारी की है। विक्रम मैकनिकल इंजीनियर है। सरकारी परीक्षा के लिए विक्रम तैयारी कर रहें है। उसके पिता विश्वजीत शील परिवहन कर्मचारी। विक्रम गीत खुद लिखते है, खुद ही धुन बनाते है और उसे गिटार पर बजाते है। कोरोना ही नहीं, उसने दहेज प्रथा, दुष्कर्म, नारी -उत्पीड़न सहित विभिन्न विषयों पर गीत लिखे है। रक्तदान से लेकर डेंगू आदि पर विक्रम ने गीत लिखे है। शनिवार को विक्रम अपना गिटार लेकर जिला में उतर चुका है। उसे सागरदिघी पार, हरिशपाल मोड, दास ब्रदर्स मोड़, विश्व सिंह रोड, सुनीति रोड आदि इलाके में विक्रम अपनी टोली के साथ पहुंच जाते है।
कैप्शन : गिटार लेकर गीत गाता हुआ विक्रम