Haldwani News : कुमाऊं के सबसे बड़े शहर में 35 हजार आबादी पानी के लिए जूझ रही
water problem in haldwani हल्द्वानी में 30 से अधिक क्षेत्रों में कई महीनों से पानी की समस्या बनी हुई है। कई क्षेत्रों में लोगों को प्रतिदिन तो दूर तीसरे दिन भी आधा घंटा पानी नहीं मिल पा रहा है। विभागीय अधिकारी शिकायत के बावजूद भी सुनने को तैयार नहीं हैं।
जागरण संवाददाता, हल्द्वानी : कुमाऊं के सबसे बड़े हल्द्वानी में 35 हजार से अधिक आबादी क्षेत्र पिछले कई महीनों से पानी की समस्या से जूझ रहे हैं। गर्मी का सीजन शुरू होने के बाद इन क्षेत्रों में पानी की दिक्कत और बढ़ गई है। इसे विभागीय लापरवाही ही कहेंगे कि सरकारी योजनाओं और नई पेयजल लाइनों से भी स्थिति नहीं सुधर पा रही है।
स्थानीय जनप्रतिनिधियों और लोगों का कहना है कि आनंदपुरी, तल्ली हल्द्वानी, गौजाजाली समेत 30 से अधिक क्षेत्रों में कई महीनों से पानी की समस्या बनी हुई है। कई क्षेत्रों में लोगों को प्रतिदिन तो दूर तीसरे दिन भी आधा घंटा पानी नहीं मिल पा रहा है। विभागीय अधिकारी शिकायत के बावजूद भी सुनने को तैयार नहीं हैं। वहीं, बचीनगर नलकूप की मोटर पिछले एक हफ्ते से खराब है, जिससे करीब पांच हजार आबादी क्षेत्र प्रभावित है।
जल संस्थान के सहायक अभियंता पंकज उपाध्याय ने बताया कि महिला डिग्री कालेज स्थित नलकूप की मोटर ठीक हो गई है। जल्द सिंचाई विभाग के बचीनगर नलकूप से भी आपूर्ति सुचारु हो जाएगी। इधर, अधिशासी अभियंता संजय श्रीवास्तव ने बताया कि गर्मी के चलते अंत तक पानी पहुंचने में दिक्कत रहती है। इस समय शहर में 87 नलकूपों से पानी की आपूर्ति की जा रही है। प्रभावित क्षेत्रों में 14 टैंकरों से पानी पहुंचाया जा रहा है।
हफ्तेभर से पहले ठीक नहीं होते नलकूप
शहर में पिछले डेढ़ महीने में ही दस नलकूपों की मोटर खराब हो चुकी है। इन सभी मोटरों को ठीक करने में एक हफ्ते से अधिक का समय लगा है और इस दौरान लोगों को पानी के लिए काफी परेशानी उठानी पड़ी। ऐसी समस्या से निपटने के लिए विभाग ने अप्रैल में ही चार मोटर भी खरीदी हैं। बावजूद मोटर की मरम्मत के समय में कोई सुधार नहीं दिखा।
हर दिन 12 एमएलडी पानी होता है बर्बाद
अफसरों के मुताबिक शहर की आबादी छह लाख पहुंच चुकी है। इसके लिए जल संस्थान को 77.49 एमएलडी पानी की जरूरत है। जबकि जल संस्थान नलकूप व गौला नदी से 80 एमएलडी पानी ले रहा है। इसमें से 15 प्रतिशत यानी कि 12 एमएलडी पानी बर्बाद होने के कारण उपभोक्ताओं तक पहुंच नहीं पाता है।
यहां सबसे अधिक दिक्कत
आनंदपुरी, निशांत विहार, रामाकृष्णपुरम, महेश नगर, दुर्गा कालोनी, खन्ना फार्म, डी क्लास, नागेश्वर कालोनी, दुर्गा विहार, इंद्रपुरी, हरिपुर सूखा कालोनी, दमुवाढूंगा, राजपुरा, पालीशीट, टेड़ी पुलिया, जजी, आवास विकास, सुभाषनगर, बरेली रोड, बिठौरिया, बमौरी, पीलीकोठी, लालडांठ, कुसुमखेड़ा, ऊंचापुल, कठघरिया, हिम्मतपुर मल्ला, हिम्मतपुर तल्ला, भगवानपुर, गुसाईपुर, गणपति विहार, जोशी विहार, आनंदपुर।
आंकड़ों में समझें हालात
- 87 नलकूपों से होती है पेयजल आपूर्ति
- 14 टैंकरों से होती है वैकल्पिक व्यवस्था
- 77.49 एमएलडी पानी की रोजाना जरूरत
- 80 एमएलडी पानी जल संस्थान को होता है उपलब्ध
- 12 एमएलडी से ज्यादा पानी लीकेज से होता है बर्बाद
लोगों का कहना है
जल संस्थान की लापरवाही के कारण तीसरे दिन भी पर्याप्त पानी नहीं मिल पा रहा है। जिस वजह से निजी टैंकरों से पानी खरीदकर व्यवस्था करनी पड़ रही है।
- कैप्टन दीवान सिंह फत्र्याल, निवासी आनंदपुरी
गर्मियों में पानी की खपत बढ़ जाती है, परंतु उन्हें तो सामान्य समय में मिलने वाला पानी भी नहीं मिल पा रहा है। ऐसे में टैंकर पर निर्भर हो गए हैं।
- डा. विमला मेहरा, निवासी रामकृष्णपुरम
लंबे समय में क्षेत्र की पानी की समस्या है। कभी कभार ही नलों में पानी आता है। जल संस्थान को शिकायत करने के बावजूद समस्या दूर नहीं हो रही।
- रमेश जोशी, निवासी तल्ली हल्द्वानी
पिछले महीने से पानी की समस्या अधिक बढ़ गई है। कई बार जल संस्थान के अफसरों से शिकायत कर चुके हैं, परंतु अब तक समस्या दूर नहीं हो सकी है।
- स्वाति नेगी, निवासी आनंदपुरी फेस-2
तल्ली बमोरी, आनंदपुरी, निशांत विहार, रामा कृष्ण पुरम में पिछले कई दिनों से पानी की समस्या हो रही है। जल संस्थान तीसरे दिन पानी दे रहा, वह भी सिर्फ 30 से 35 मिनट। जिससे भी कई परिवार वंचित हो रहे हैं।
- राजेंद्र जीना, निवासी पार्षद वार्ड-9