तीन दिन से बर्फ में भूखा-प्यासा ट्रक में फंसा था चालक, छोड़ चुका था जीवन की उम्मीद, इस तरह बची जान
थल-मुनस्यारी मार्ग पर सर्वाधिक ऊंचाई वाले बिटलीधार में विगत तीन दिनों से फंसे ट्रक चालक को एक बार फिर इको पार्क में रहने वाले बृजेश धर्मशक्तू ने अपने साथियों के साथ रेस्क्यू किया।
मुनस्यारी, जेएनएन : पहाड़ पर हुई बर्फबारी से लोगों की जान सांसत में फंस गई है। पिथौरागढ़ में थल-मुनस्यारी मार्ग पर सर्वाधिक ऊंचाई वाले बिटलीधार में विगत तीन दिनों से फंसे ट्रक चालक को एक बार फिर इको पार्क में रहने वाले बृजेश धर्मशक्तू ने अपने साथियों के साथ रेस्क्यू कर सुरक्षित पार्क तक पहुंचा दिया है। पिछले दिनों भी एक महिला अपने बच्चों के साथ बर्फ में फंस गई थी। उसने के बच्चों के साथ गुफा में माइनस छह डिग्री में पूरी रात गुजारी थी। बृजेश धर्मशक्तू ने उस महिला को भी बचाया था।
तीन दिन तक ट्रक में भूखा-प्यासा रहा चालक
चार दिन पूर्व मुनस्यारी से थल की तरफ जा रहा ट्रक फंस गया था। कोश्यारी ट्रांसपोर्ट के ट्रक में चालक दीवान सिंह पुत्र मेघ सिंह निवासी महरगाड़ी बागेश्वर था। बिटलीधार में बर्फ होने से वह फंस गया। इसके बाद इस क्षेत्र में लगातार बर्फबारी होती रही। बिटलीधार में चार से पांच फीट जम गई। चालक दीवान सिंह फंसा रहा। उसके पास ट्रक में खाने पीने के लिए कुछ नहीं था। 2748 मीटर की ऊंचाई पर ट्रक के फंस जाने से चालक कहीं निकल नहीं सका। इस दौरान भारी हिमपात हो गया और वह ट्रक में ही फंसा रहा। तीन दिन तक भूखा-प्यासा रहा। यहां से लगभग दो किमी दूर इको पार्क में रहने वाले बृजेश धर्मशक्तू को इसकी जानकारी मिली।
मौसम को देखकर जीवन की उम्मीद छोड़ चुका था चालक
गुरुवार को जानकारी मिलते ही बृजेश धर्मशक्तू पार्क में साथ में रहने वाले कुंदन सिंह हरकोटिया, राजेंद्र कोरंगा के साथ उसे बचाने निकले। पांच फीट के आसपास बर्फ होने से बचाव दल के लोगों को दो किमी मार्ग पार करने में चार से पांच घंटे लग गए। ट्रक के पास पहुंच कर रेस्क्यू टीम ट्रक चालक दीवान सिंह को अपने साथ पार्क में लाए। ट्रक चालक दीवान सिंह ने बताया कि तीन दिन से केवल बर्फबारी में फंसे होने और उसके पास खाने, पीने की कोई व्यवस्था नहीं थी। मौसम को देखते हुए बचने की आस छोड़ चुका था। बृजेश धर्मशक्तू के प्रयास से उसे नया जीवन मिला है। बतादें कि तीन दिन पूर्व बृजेश ने भारी बर्फबारी में फंसे मां और उसके दो बच्चों को भी बचाया था। समाज सेवी हीरा सिंह चिराल ने प्रदेश सरकार से बृजेश धर्मशक्तू को सम्मानित करने की मांग की है।
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