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नैनीताल में दुर्लभ श्रेणी के जीव सराव के मांस के साथ सात गिरफ्तार, पांच को भेजा जेल, दो से पूछताछ जारी

नैना देवी बर्ड रिजर्व इलाके में सराव के मांस के साथ सात लोगों को गिरफ्तार किया है। इस मामले में पांच आरोपितों को न्यायालय पेश करने के बाद जेल भेज दिया गया है जबकि दो आरोपितों के खिलाफ जांच की जा रही है।

By Prashant MishraEdited By: Published: Tue, 20 Apr 2021 10:36 PM (IST)Updated: Tue, 20 Apr 2021 10:36 PM (IST)
नैनीताल में दुर्लभ श्रेणी के जीव सराव के मांस के साथ सात गिरफ्तार, पांच को भेजा जेल, दो से पूछताछ जारी
सभी आरोपितों को न्यायालय पेश करने के बाद न्यायिक क हिरासत में भेज दिया गया है।

जागरण संवाददाता, नैनीताल : वन विभाग ने नैना देवी बर्ड रिजर्व इलाके में सराव के मांस के साथ सात लोगों को गिरफ्तार किया है। इस मामले में पांच आरोपितों को न्यायालय पेश करने के बाद जेल भेज दिया गया है जबकि दो आरोपितों के खिलाफ जांच की जा रही है।

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सोमवार देर रात डीएफओ बीजू लाल टीआर को सूचना दी कि पंगोट क्षेत्र में कुछ ग्रामीणों द्वारा किसी जंगली जीव का अवैध शिकार किया गया है।  सूचना पर वन क्षेत्राधिकारी ममता चंद अन्य कर्मियों की टीम ने रात में पंगोट बगड़ निवासी शेरी राम के घर पर छापा मारा। टीम ने सराव का सिर, पैर और कटा हुआ मांस बरामद किया। पूछताछ के दौरान शिकार में छह अन्य लोगों के भी शामिल होने की बात सामने आई। जिसके बाद टीम ने क्षेत्र स्थित क्षेत्र में एक रिजार्ट पर छापा मारा तो सराव का कच्चा और पका मांस बरामद करने के साथ मौके से सात लोगों को गिरफ्तार कर मांस कब्जे में ले लिया। रेंजर ममता ने बताया कि इस मामले में मल्ला बगड़ निवासी शेर राम, आनंद कुमार, राहुल कुमार, महरौड़ा पंगोट निवासी पुष्कर चंद्र, पंकज चंद्र के खिलाफ  वन संरक्षण अधिनियम 1972 की सुसंगत धाराओं के तहत मुकदमा दर्ज कर लिया गया है। सभी आरोपितों को न्यायालय पेश करने के बाद न्यायिक क हिरासत में भेज दिया गया है।

इसके अलावा पाली ग्राम निवासी अंकित जोशी और बगड़ मल्ला निवासी दान सिंह को गिरफ्तार कर फिलहाल जांच की जा रही है। मांस के सैंपल को फारेंसिक जांच के लिए लैब में भेजा जाएगा।

2004 के बाद मय मांस के बड़ी बरामदगी

क्षेत्र से सराव के मांस के साथ सात आरोपितों को गिरफ्तार कर वन विभाग ने बड़ी सफलता हासिल की है। डीएफओ बीजूलाल टीआर ने बताया कि क्षेत्र में कई बार अवैध शिकार की शिकायत तो मिलती थी, लेकिन मौके पर जाकर कोई सुबूत नहीं मिल पाते थे। इसके अलावा कई बार जीवों की खाल के साथ लोग गिरफ्तार हुए है। बताया कि 2004 के बाद मय मांस के शिकारियों की गिरफ्तारी का यह पहला मामला है।

श्रेणी एक का जीव है सराव

डीएफओ ने बताया कि उच्च क्षेत्र में पाया जाने वाला सराव दुर्लभ प्रजाति का जीव है। अवैध शिकार के कारण इनकी कम होती संख्या को देखते हुए इसे संरक्षित घोषित करते हुए श्रेणी एक में रखा गया है। जिसके शिकार पर कम से कम सात साल की सजा का प्रावधान है। वन विभाग की टीम को पुरस्कृत किया जाएगा। टीम मेें रेंजर ममता के साथ वन दारोगा चंदन रावत, अशोक कुमार, चंदन सिंह, वन रक्षक गोविंद बिष्टï, जितेंद्र सिंह, हरेंद्र, विरेंद्र शामिल थे।

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