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कोरोना के चलते पहली बार खाली हुआ पंतनगर विश्वविद्यालय, विदेशी छात्र भी लौटे

गोविंद बल्लभ पंत कृषि एवं प्रौद्योगिक विवि के सभी छात्रों को छात्रावास खाली करने का आदेश दे दिया गया है। शोधार्थियों को शोध पत्र जमा करने की अनुमति दी गई थी मगर उन्हें भी छात्रावास खाली करने को कहा गया है। विवि के इतिहास में पहली बार ऐसा होगा।

By Prashant MishraEdited By: Published: Sat, 24 Apr 2021 02:51 PM (IST)Updated: Sat, 24 Apr 2021 02:51 PM (IST)
अफगानिस्तान, म्यांमार व नेपाल जैसे देशों के विद्यार्थी भी यहां पढ़ाई करते हैं। सभी अपने देश लौट रहे हैं।

जागरण संवाददाता, पंतनगर : कोरोना संक्रमण से बचाव के लिए गोविंद बल्लभ पंत कृषि एवं प्रौद्योगिक विवि के सभी छात्रों को छात्रावास खाली करने का आदेश दे दिया गया है। करीब चार सौ शोधार्थियों को शोध पत्र जमा करने की अनुमति दी गई थी, मगर उन्हें भी छात्रावास खाली करने को कह दिया गया है। ऐसे में विवि के इतिहास में पहली बार ऐसा होगा, जब परिसर विद्यार्थियों के बिना सूना हो जाएगा। एक दो दिन में छात्रावास खाली हो जाएंगे।

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अफगानिस्तान, म्यामार, नेपाल जैसे देशों के विद्यार्थी भी यहां पढ़ाई करते हैं। पिछले साल कोरोना संक्रमण में भी विवि में शाेधार्थी व विदेशी छात्र हास्टल में रुके थे। इस बार कोरोना की दूसरी लहर को देखते हुए शासन ने 30 अप्रैल तक उच्च शिक्षण संस्थाएं बंद कर दिया है। विवि प्रशासन ने एक सप्ताह पहले  केवल उन विद्यार्थियों को छोड़कर हास्टल खाली करने को कहा था, जिनका हाल में डिग्री व शोध पत्र जमा होने हैं। करीब 3600 विद्यार्थी घर चले गए और करीब चार सौ ऐसे विद्यार्थी थे, जिनकी डिग्री व थीसिस जमा होने हैं, वे लोग रुक गए थे। विवि प्रशासन ने गुरुवार को सभी विद्यार्थियों को हास्टल खाली करने का आदेश जारी कर दिया है। हालांकि विदेशी छात्रों में  जिनकी समस्या है, उन्हें छात्रावास में रहने की अनुमति दी गई है। इस वजह से विवि एक दो दिन में पूरी तरह सूना पड़ जाएगा। जबकि ग्रीष्मावकाश में भी शोधार्थी से विवि परिसर में चहल पहल बनी रहती थी।

शिक्षकों का कहना था कि कोरोना महामारी की वजह से विवि प्रशासन ने ऐसा निर्णय लिया है। बताया जा रहा है कि विद्यार्थियों को डेढ़ दो माह बाद ही बुलाया जा सकता है। पढ़ाई प्रभावित न हो, इसके लिए आनलाइन कक्षाएं संचालित की जा रही हैं। कुछ लोग अपने आवास से पढ़ा रहे हैं तो कुछ लोग कक्षाओं में आकर आनलाइन पढ़ा रहे हैं। कृषि महाविद्यालय के डीन डा. शिवेंद्र कुमार कश्यप ने बताया कि ऑनलाइन कक्षाएं संचालित की जा रही हैं।

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