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यूपीएससी में कुमाऊं के चार मेधावियों का डंका, तीन हैं अधिकारी, एक शिमला में ले रहा आइआरएस का प्रशिक्षण

यूपीएससी में इस बार उत्तराखंड के मेधावियों का डंका बजा है। कुमाऊं मंडल से ही चार लोगों का सेलेक्शन भारत की सबसे बड़ी और सबसे कठिन परीक्षा में हुआ है।

By Skand ShuklaEdited By: Published: Wed, 05 Aug 2020 09:00 AM (IST)Updated: Thu, 06 Aug 2020 01:56 PM (IST)
यूपीएससी में कुमाऊं के चार मेधावियों का डंका, तीन हैं अधिकारी, एक शिमला में ले रहा आइआरएस का प्रशिक्षण
यूपीएससी में कुमाऊं के चार मेधावियों का डंका, तीन हैं अधिकारी, एक शिमला में ले रहा आइआरएस का प्रशिक्षण

नैनीताल जेएनएन : यूपीएससी में इस बार उत्तराखंड के मेधावियों का डंका बजा है। कुमाऊं मंडल से ही चार लोगों का सेलेक्शन भारत की सबसे बड़ी और  सबसे कठिन परीक्षा में हुआ है। मजे की बात है कि चारों वर्तमान में किसी न किसी बड़े पोस्ट पर कार्यरत हैं। यूपीएससी में 43 वीं रैंक हासिल कर प्रदेश टॉप करने वाले रामनगर के शुभम बंसल वर्तमान में कानपुर में आरबीआई में जीएम हैं। 163 वीं रैंक हासिल करने वाले बागेश्वर के सिद्धार्थ धपोला ने पिछली बार भी यूपीएसएससी क्वालीफाई किया था। इस समय वे तब उन्हें आईआरएस मिला था। इस वक्त वह शिमला में प्रशिक्षण ले रहे हैं। भवाली के घोड़ाखाल निवासी अमित दत्त ने यूपीएससी में 761वीं रैंक हासिल की है। वह हल्द्वानी में बतौर राज्य कर अधिकारी कार्यरत हैं। जबकि ऊधमसिंहनगर जिले के बाजपुर निवासी ऋजुल ने भी यूपीएससी क्वालीफाई किया है। उन्हें यूपीएससी में 702वीं रैंक प्राप्त हुई है। वह वन विभाग खटीमा में एसडीओ के पद पर कार्यरत हैं। 

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शुभम वर्तमान में कानपुर में आरबीबाई में हैं जीएम 

नैनीताल जिले के रामनगर निवासी व्यवसायी के पुत्र शुभम बंसल ने रामनगर क्षेत्र का नाम रोशन किया है। उन्होंने आईएएस की परीक्षा में 43वां स्थान हासिल कर प्रदेश टॉप किया है। रामनगर से आईएएस की परीक्षा पास करने वाले शुभम पहले युवक हैं। जहूर मंजिल नियर कोतवाली निवासी आटा मिल व्यवसायी अतुल अग्रवाल के पुत्र शुभम ने वर्ष 2011 में लिटिल स्कॉलर काशीपुर से दसवीं की परीक्षा पास की। जबकि इंटर की परीक्षा दिल्ली आरके पुरम स्थित डीपीएस से वर्ष 2013 में उत्तीर्ण की। वर्ष 2017 में दिल्ली तकनीकी विश्वविद्यालय से मैकेनिकल इंजीरियरिंग की पढ़ाई पूरी की। इस दौरान 2017 में ही आईएएस की परीक्षा दी, लेकिन इंटरव्यू में असफलता मिली। वर्ष 2018 में फिर से आईएएस की परीक्षा दी। पहली परीक्षा में वह बाहर हो गए। पर निराश नहीं हुए। वर्ष 2018 में रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया की परीक्षा दी। जिसमें वह उत्तीर्ण हो गए। उन्हेें कानपुर स्थित आरबीआई में पिछले साल जुलाई में जनरल मैनेजर के पद पर नियुक्ति मिली। दो बार आईएएस की परीक्षा में असफल रहने के बाद भी शुभम ने हार नहीं मानी। बैंक की नौकरी मेें रहते हुए आईएएस की तैयारी जारी रखी। उन्होंने पिछले साल तीसरी बार आईएएस की परीक्षा दी। इसी साल फरवरी में उनके इंटरव्यू हुए। मंगलवार को परीक्षा का रिजल्ट घोषित हुआ तो शुभम को देश में 43 वीं रैंक मिली। 

आईआरएस क्वालीफाई कर शिमला में प्रशिक्षण ले रहे सिद्धार्थ 

बागेश्‍वर जिले के कांडा तहसील के भदौरा गांव के लाल सिद्धार्थ धपोला ने यूपीएससी परीक्षा में 163 वां स्थान प्राप्त कर जिले और क्षेत्र नाम रोशन किया है। पिछली बार भी उन्होंने परीक्षा 255 रैंक के साथ क्वालीफाई थी। उन्हें तब आईआरएस मिला। इस वक्त वह शिमला में प्रशिक्षण ले रहे हैं। इस बार की परीक्षा में उनकी रैंक में सुधार हुआ है। परिजनों को आईपीएस मिलने की उम्मीद जगी है। उनका भाई मल्टीनेशनल कंपनी में एकाउंट सेक्सन में है, जबकि पिता आईटीबीपी दिल्ली में इंस्पेक्टर के पद पर तैनात हैं। बेटे की उपलब्धि पर पिता समेत पूरे गांव में जश्न का माहौल है। कांडा तहसील के भदौरा गांव निवासी विपिन चंद्र धपोला, मुन्नी धपोला के घर 25 जनवरी 1993 को जन्मे सिद्धार्थ बचपन से ही कुशाग्र बुद्धि के थे, जबकि पिताआईटीबीपी में इस्पेक्टर हैं। इस वक्त वह दिल्ली में तैनात हैं। उनके बेटे सिद्धार्थ धपोला ने इस बार की यूपीएससी की परीक्षा में 163वां स्थान प्राप्त किया है। उनके पिता ने बताया कि बेटे ने गत वर्ष भी परीक्षा 255वें रैंक में पास की थी।

अमित हलद्वानी में हैं राज्य कर अधिकारी 

नैनीताल जिले के भवाली के घोड़ाखाल रोड निवासी अमित दत्त ने यूपीएससी की परीक्षा क्वालीफाई की है। अमित को यूपीएससी में 761वीं रैंक हासिल हुई है। अमित ने कुर्मांचल एकेडमी अल्मोड़ा से 10वीं व 12वीं की परीक्षा पास की है। वर्ष 2013 में दिल्ली यूनिवर्सिटी से हिस्ट्री व पॉलिटिकल साइंस से बीए और कुमाऊं यूनिवर्सिटी अल्मोड़ा से हिस्ट्री से पीजी किया है। जिसके बाद उन्होंने 2016 में राज्य कर अधिकारी की परीक्षा और क्वालीफाई कर 2019 में हल्द्वानी पोस्टिंग पाई। उनके पिता सुनील दत्त जल निगम व माता गृहिणी है। एक बहन की शादी हो चुकी है। छोटे भाई-बहन पढ़ाई कर रहे हैं। वर्तमान में वह राज्य कर अधिकारी के पद पर हल्द्वानी में कार्यरत हैं। अमित ने बातचीत करते हुए कहा कि वह अगले वर्ष अपनी रैंक को इम्प्रूव करना चाहते हैं। इसके लिए वह आगे भी तैयारी जारी रखेंगे। 

खटीमा में एसडीओ के पद पर कार्यरत हैं ऋजुल 

ऊधमसिंहनगर जिले के बाजपुर निवासी ऋजुल भी यूपीएससी क्वालीफाई कर आइएएस बने हैं। उन्हें यूपीएससी में 702वीं रैंक प्राप्त हुई है। ऋजुल भी और कड़ी मेहनत कर आईपीएस कैडर हासिल करन चाहते हैं। वन विभाग खटीमा में एसडीआे के पद पर कार्यरत बाजपुर की जीजीआईसी कॉलोनी निवासी बाबूलाल के बेड़े बेटे ऋजुल ने जयपुर से बी-टेक करके दिल्ली में बाजीरॉव कोचिंग सेंटर से कोचिंग लेकर सिविल सर्विसेज की तैयारी शुरू कर दी थी। 2019 के यूपीएससी के रिजल्ट में उन्हें 702वीं रैंक हासिल हुई है। जबकि इससे पूर्व वर्ष 2018 की परीक्षा में वह सीआईएसएफ में असिस्टेंट कमांडेंट की परीक्षा उत्तीर्ण कर चुके हैं, जिसमें उन्हें 77 रैंक प्राप्त हुई थी, लेकिन उनका सपना यूपीएससी उत्तीर्ण कर देश सेवा करने का था। जिसके लिए वह लगातार प्रयास करते रहे।


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