बाहरी गन्ने को लेकर विरोधाभासी रिपोर्ट
जागरण संवाददाता, रुड़की: हरियाणा और पश्चिमी उप्र के गन्ने को लेकर गन्ना विभाग और प्रशासि
जागरण संवाददाता, रुड़की: हरियाणा और पश्चिमी उप्र के गन्ने को लेकर गन्ना विभाग और प्रशासनिक अधिकारी कोई ठोस कार्रवाई नहीं कर रहा है। शनिवार लिब्बरहेड़ी गन्ना समिति के सचिव ने सहायक गन्ना आयुक्त को 20 बाहर के गन्ने की ट्रैक्टर-ट्रॉलियों के संबंध में जानकारी दी। इसके बाद सहायक गन्ना आयुक्त ने दूसरी टीम को भेजा। दूसरी टीम की रिपोर्ट में कोई ट्रैक्टर-ट्रॉली नहीं मिली। इसके बाद विभाग की कार्यशैली पर भी सवाल उठ रहे हैं।
इन दिनों गन्ना माफिया बाहर से बड़े पैमाने पर गन्ना ला रहे हैं। इन गन्ना माफिया को कुछ स्थानीय किसानों का भी संरक्षण प्राप्त है। शनिवार को बड़ी संख्या में हरियाणा और पश्चिमी उप्र से गन्ने से भरी ट्रैक्टर-ट्रॉलियां नारसन बॉर्डर पर पहुंची। सूचना मिलने पर सहायक गन्ना आयुक्त आशीष कुमार नेगी ने लिब्बरहेड़ी गन्ना समिति के सचिव प्रदीप कुमार वर्मा को मौके पर भेजा। उन्होंने सहायक गन्ना आयुक्त को भेजी रिपोर्ट में बताया कि नारसन में 20 गन्ने से भरी ट्रैक्टर-ट्रॉलियां खड़ी मिली हैं। इन ट्रॉलियों में बाहर का गन्ना है। इसके बाद सहायक गन्ना आयुक्त ने इकबालपुर के ज्येष्ठ गन्ना विकास निरीक्षक दिग्विजय ¨सह और इकबालपुर समिति के सचिव जय ¨सह को मौके पर भेजा। इन अधिकारियों ने अपनी रिपोर्ट में बताया कि जब वह मौके पर पहुंचे तो चार ट्रैक्टर-ट्रॉलियां उनकी गाड़ी को देखकर पुरकाजी की ओर चली गई। चीनी मिल के यार्ड में बाहर के गन्ने की कोई ट्रॉली नहीं मिली है। उत्तराखंड किसान मोर्चा के राष्ट्रीय अध्यक्ष गुलशन रोड ने आरोप लगाया कि गन्ना विभाग ही बाहर के गन्ने को रोकने में कोई दिलचस्पी नहीं दिखा रहा है। जिसकी वजह से गन्ना माफिया के हौसले बुलंद है।
'इस संबंध में रिपोर्ट मिली है। लिब्बरहेड़ी समिति के सचिव की रिपोर्ट को सही मानते हुए सहायक चीनी आयुक्त को रिपोर्ट भेजी गई है, जिसमें बाहर के गन्ने को लेकर मुकदमा दर्ज कराने की संस्तुति की गई है। इस मामले में कार्रवाई सहायक चीनी आयुक्त के स्तर से होनी है।'
आशीष कुमार नेगी सहायक गन्ना आयुक्त हरिद्वार