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महापौर ने फिर स्थगित की बोर्ड बैठक, कई पार्षद खफा

नगर निगम रुड़की के महापौर ने एक बार फिर से बोर्ड बैठक को स्थगित कर दिया है। इससे पहले भी कई बार बोर्ड बैठक स्थगित हो चुकी है।

By JagranEdited By: Published: Thu, 25 Feb 2021 05:39 PM (IST)Updated: Thu, 25 Feb 2021 05:39 PM (IST)
महापौर ने फिर स्थगित की बोर्ड बैठक, कई पार्षद खफा
महापौर ने फिर स्थगित की बोर्ड बैठक, कई पार्षद खफा

संवाद सहयोगी, रुड़की: नगर निगम रुड़की के महापौर ने एक बार फिर से बोर्ड बैठक को स्थगित कर दिया है। इससे पहले भी कई बार बोर्ड बैठक स्थगित हो चुकी है। लेकिन, यह पहला मौका है जब एजेंडा जारी होने के बाद बैठक को स्थगित किया गया है। बोर्ड बैठक के स्थगित होने से पार्षदों में रोष है।

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नगर निगम बोर्ड के गठन को करीब सवा साल हो चुका है। पिछले साल फरवरी में बोर्ड बैठक हुई थी। इसके बाद से अब तक बैठक नहीं हुई है। जबकि हर तीन माह में एक बार बोर्ड बैठक होनी चाहिए। बोर्ड बैठक न होने से नाराज पार्षदों ने शहरी विकास मंत्री से भी महापौर की शिकायत की थी। भारी दबाव के बाद महापौर ने 26 फरवरी को बोर्ड बैठक निर्धारित की थी। इसके लिए एजेंडा भी तैयार किया गया था। सभी पार्षदों को 1210 प्रस्तावों का यह एजेंडा भी मुहैया करा दिया गया था। महापौर गौरव गोयल ने गुरुवार को बोर्ड बैठक के एक दिन पहले फिर ही इसे स्थगित कर दिया। बैठक स्थगित होने के पीछे महापौर गौरव गोयल का कहना है कि कुछ पार्षदों ने विकास कार्यो के और प्रस्ताव दिए हैं। इन प्रस्तावों को भी एजेंडे में शामिल किया जाना है। इसी के चलते बोर्ड बैठक को कुछ दिन के लिए स्थगित किया गया है। जल्द ही, बोर्ड बैठक कराई जाएगी। पार्षद नितिन त्यागी का कहना है कि महापौर के बोर्ड बैठक न कराने से सभी विकास कार्य रुक गए हैं। पार्षद पंकज सतीजा का कहना है कि महापौर बोर्ड बैठक न कराकर पद का दुरुपयोग कर रहे हैं। कहीं पार्षदों के बगावती तेवर तो नहीं बने बैठक को टालने की वजह

रुड़की: महापौर गौरव गोयल ने बोर्ड बैठक से पहले बुधवार शाम को पार्षदों की बैठक बुलाई थी। इसमें निर्वाचित और नामित सभी 48 पार्षद में से आधे पार्षद भी बैठक में नहीं पहुंचे थे। बताया गया कि बैठक के दौरान पार्षदों ने विभिन्न बातों को लेकर महापौर के प्रति गहरी नाराजगी भी जताई थी। महापौर गौरव गोयल बोर्ड बैठक से पहले पार्षदों का रुख जानना चाहते थे। उनका प्रयास था कि इस बैठक के जरिये वह नाराज पार्षदों को मना लेंगे। ताकि बोर्ड बैठक शांतिपूर्ण ढंग से संपन्न हो जाए। लेकिन, बैठक में आधे भी पार्षद नहीं पहुंचे। जो पार्षद आए उनमें भी कई के तेवर तीखे रहे। माना जा रहा है कि पार्षदों के इन्हीं बगावती तेवरों के कारण ही महापौर ने बैठक को स्थगित कर दिया। महापौर का जोर अब नाराज पार्षदों को मनाने पर है। विधायक देशराज कर्णवाल से भी उन्होंने मुलाकात की है।


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