बिजली-पानी को तरसी दस हजार की आबादी
बिजली न आने से करीब दस हजार की आबादी न सिर्फ अंधेरे में रही बल्कि पानी को भी तरस गई।
संवाद सहयोगी, रुड़की: बिजली न आने से करीब दस हजार की आबादी न सिर्फ अंधेरे में रही, बल्कि पानी को भी तरस गई। मंगलवार शाम एचटी लाइन में फाल्ट आने से क्षेत्रवासियों को यह समस्या झेलनी पड़ी। ऐसे में स्थानीय निवासियों को सरकारी हैंडपंप से पानी लाना पड़ा। जिसके चलते यहां भी लंबी लाइन लगी रही।
कृष्णानगर इलाके की बिजली मंगलवार शाम को गुल हो गई। क्षेत्रवासियों ने ऊर्जा निगम के अधिकारियों को फोन किया तो पता चला कि एचटी लाइन का तार टूट गया है। ऐसे में रातभर यहां के व्यक्तियों ने अंधेरे में रात गुजारी। बुधवार सुबह भी बिजली नहीं आई। ट्यूबवेल न चलने से ओवरहेड टैंक भी खाली रहा। जिससे घरों में पानी नहीं आया। ऐसे में क्षेत्रवासी पीने के पानी तक को तरस गए। जिसके चलते गली मोहल्लों में लगे सरकारी हैंडपंप पर पानी भरने वालों की लाइन लगी रही। समाजसेवी संजय कश्यप ने बताया कि बुधवार दोपहर करीब साढ़े 12 बजे बिजली आई। उन्होंने बताया कि क्षेत्र में एचटी लाइन जर्जर हालत में है। आए दिन तार टूटते रहते हैं। जिससे हादसों का भी खतरा बना रहता है। कई बार ऊर्जा निगम अधिकारियों को इस संबंध में अवगत कराया, लेकिन स्थायी समाधान नहीं किया जाता है। दो दिन पहले भी इसी तरह से कई घंटे बाद बिजली आई थी। कृष्णपाल मलिक, अमर सिंह गहलोत, राकेश उपाध्याय, संजीव सैनी, मुकेश तिवारी, मुकेश सैनी, मामचंद आदि का कहना है कि ऊर्जा निगम को जर्जर तारों को बदलवाना चाहिए। ताकि स्थानीय निवासियों को परेशानी न झेलनी पड़े।