स्वच्छता जांचने गुपचुप फील्ड में उतरी केंद्र की टीम
देहरादून: स्वच्छ सर्वेक्षण-2018 के तहत केंद्र की टीम ने नगर निगम के दस्तावेजों की जांच-पड़ताल के बाद गुपचुप तरीके से शहर की सफाई व्यवस्था का भी जायजा लिया।
जागरण संवाददाता, देहरादून: स्वच्छ सर्वेक्षण-2018 के तहत केंद्र की टीम ने नगर निगम के दस्तावेजों की जांच-पड़ताल के बाद गुपचुप तरीके से शहर की सफाई व्यवस्था का भी जायजा लिया। इस दौरान टीम ने शहर की स्वच्छता पर लोगों की प्रतिक्रिया भी जानी।
दून की स्वच्छता का सर्वेक्षण 12 फरवरी से शुरू हो गया था। 12 से 15 फरवरी तक केंद्र सरकार की ओर से अधिकृत की गई कार्वी कंपनी की टीम ने नगर निगम के दस्तावेजों की पड़ताल की। इस दौरान टीम ने देखा कि निगम ने कूड़ा उठान और निस्तारण समेत शौचालयों की स्थिति व अन्य सुविधाओं के बारे में अपने दस्तावेजों के बारे में क्या उल्लेख किया है।
दस्तावेजों की जांच-पड़ताल के साथ ही कंपनी की टीम ने सैकड़ों दस्तावेजों की छाया प्रतियां कब्जे में भी ली थीं। इसके बाद कार्वी की अन्य टीम मंगलवार को गुपचुप ढंग से शहर में उतरी और देखा कि नगर निगम के दस्तावेजों और धरातल पर कितना अंतर है। बताया जा रहा है कि सार्वजनिक शौचालयों की स्थिति टीम को काफी खराब नजर आई। यह स्थिति तब है जब टीम के गुपचुप सर्वेक्षण को देखते हुए नगर निगम ने अपनी तरफ से सफाई के पुख्ता इंतजाम किए थे।
सर्वेक्षण में टीम को ऐसे शौचालय भी मिले, जिनका रखरखाव सालों पहले बंद हो चुका है, लेकिन इनका प्रयोग अभी भी किया जा रहा है। इस दौरान जब कार्वी के प्रतिनिधियों ने लोगों से स्वच्छता के बारे में सवाल किए तो अधिकतर ने कूड़ा उठान व सार्वजनिक शौचालयों की दयनीय स्थिति को सामने रख दिया। इसके बाद अब कार्वी के अधिकारी दस्तावेजों के अध्ययन, धरातलीय तस्वीर, नागरिकों की राय व स्वच्छता एप के डाउनलोड के हिसाब से शहर को नंबर देगी। कुल 4000 अंकों की इस परीक्षा में हर सर्वेक्षण के लिए अलग-अलग नंबर दिए जाएंगे।