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आंदोलन की राह पर ऊर्जा निगमों के कार्मिक

नौ, 14 व 19 साल में एसीपी व समयबद्ध वेतनमान का लाभ दिए जाने समेत विभिन्न मांगों पर कार्रवाई न होने से खफा ऊर्जा निगमों के कार्मिक आंदोलन की राह पर हैं।

By JagranEdited By: Published: Wed, 16 Jan 2019 08:14 PM (IST)Updated: Wed, 16 Jan 2019 08:14 PM (IST)
आंदोलन की राह पर ऊर्जा निगमों के कार्मिक

जागरण संवाददाता, देहरादून: नौ, 14 व 19 साल में एसीपी व समयबद्ध वेतनमान का लाभ दिए जाने और वेतन विसंगति को दूर करने सहित विभिन्न मांगों पर एक साल बाद भी कोई कार्रवाई न होने से आक्रोशित ऊर्जा निगमों के कर्मचारी आंदोलन की राह पर हैं। बुधवार को उत्तराखंड विद्युत अधिकारी-कर्मचारी संयुक्त संघर्ष मोर्चा ने तीनों निगमों के प्रबंध निदेशकों को नोटिस देकर 23 जनवरी से चरणबद्ध आंदोलन का एलान किया है। मोर्चा ने चेतावनी दी है कि अगर उनकी मांगों का निराकरण नहीं हुआ तो पांच मार्च से अनिश्चितकालीन हड़ताल शुरू कर दी जाएगी।

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मोर्चा के संयोजक इंसारुल हक ने कहा कि ऊर्जा निगमों के कार्मिक नौ, 14 और 19 वर्ष की सेवा में एसीपी व समयबद्ध वेतनमान का लाभ दिए जाने सहित विभिन्न मांगों को लेकर कार्मिक संघर्ष कर रहे हैं। 22 दिसंबर 2017 में एक त्रिपक्षीय समझौता निगमों के प्रबंधन, शासन और संगठनों के बीच हुआ था। लेकिन, एक साल का समय बीत जाने के बाद भी समझौता केवल कागजों में ही है। न तो निगम प्रबंधन और न ही शासन की ओर से कर्मचारियों की मांगों पर कोई कार्रवाई की गई है। जिससे ऊर्जा कर्मचारियों में आक्रोश है। कहा कि कर्मचारियों ने इसके बाद भी विभिन्न मंचों के माध्यम से अपनी मांगों को सरकार और प्रबंधन तक पहुंचाया, लेकिन किसी के कान में जूं तक नहीं रेंगी। जिससे अब कर्मचारियों को आंदोलन करना पड़ रहा है। कहा कि अगर जल्द ही उनकी मांगों पर कोई कार्रवाई नहीं होती है तो मोर्चा के बैनर तले तीनों निगमों के अधिकारी-कर्मचारी 23 जनवरी से चरणबद्ध आंदोलन शुरू कर देंगे। इसके बाद भी संज्ञान नहीं लिया गया तो पांच मार्च से सभी कर्मचारी अनिश्चितकालीन हड़ताल पर चले जाएंगे। ये हैं प्रमुख मांगें

-नौ, 14 व 19 वर्ष की सेवा में पूर्व की भांति एसीपी और समयबद्ध वेतनमान दिया जाए।

-तीनों निगमों में उपनल के माध्यम कार्योजित संविदा कार्मिों का नियमितीकरण किया जाए और उन्हें समान कार्य का समान वेतन मिले।

-वर्ष 2000 के पश्चात नियुक्त कार्मिकों को पूर्व की भांति जीपीएफ आच्छादित पेंशन स्कीम लागू की जाए।

-सातवें वेतन आयोग के सापेक्ष सभी भत्तों को पुनरीक्षित किया जाए।

-तीनों निगमों में पदोन्नति के समस्त रिक्त पदों पर पदोन्नति की जाए और सभी संवर्गो के कर्मचारियों को शिथिलीकरण का लाभ देते हुए पदोन्नति दी जाए। आंदोलन का कार्यक्रम

-23 जनवरी से छह फरवरी तक विभिन्न जिलों में जनजागरण।

-12 फरवरी को पत्रकार वार्ता के साथ ही सरकारी मोबाइल, सिम वापस किए जाएंगे।

-20 फरवरी को गांधी पार्क से सचिवालय तक महारैली।

-25 फरवरी से दो मार्च तक यूजीवीएनएल, पिटकुल और यूपीसीएल में दो-दो दिन का अनशन।

-पांच मार्च से पूर्णकालिक हड़ताल।


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