ऋषिकेश में कंटेनमेंट जोन की संख्या बढ़कर हुई चार, पढ़िए पूरी खबर
ऋषिकेश एम्स के नर्सिंग स्टाफ से शुरू हुआ कोरोना संक्रमण अब दबे पांव आबादी क्षेत्र में भी पहुंच चुका है। इसके साथ ही अब ऋषिकेश में कंटेनमेंट जोन की संख्या अब बढ़कर चार हो गई है।
ऋषिकेश, जेएनएन। कोरोना वायरस के मामले तीर्थनगरी ऋषिकेश में निरंतर बढ़ रहे हैं। ऋषिकेश एम्स के नर्सिंग स्टाफ से शुरू हुआ कोरोना संक्रमण अब दबे पांव आबादी क्षेत्र में भी पहुंच चुका है। इसके साथ ही अब ऋषिकेश में कंटेनमेंट जोन की संख्या अब बढ़कर चार हो गई है।
ऋषिकेश में कोरोना संक्रमण का पहला मामला बापूग्राम के बीस बीघा में सामने आया था। यहां 26 अप्रैल को एम्स में तैनात नर्सिंग ऑफिसर में कोरोना संक्रमण की पुष्टि हुई थी यह नर्सिंग ऑफिसर अभी कोरोना की गिरफ्त से बाहर भी निकल पाया है। इसके दो दिन बाद ही एम्स में कोरोना के तीन नए मामले सामने आए थे, जिनमें एक बीमार महिला, एक भर्ती महिला की तीमारदार सहित एम्स की आवास विकास, शिवा एनक्लेव निवासी एक नर्स में कोरोना संक्रमण की पुष्टि हुई थी। इसके बाद 30 अप्रैल को एम्स की इंटर्न महिला और फिर 31 अप्रैल को एम्स की आवास विकास कॉलोनी निवासी नर्स में कोरोना संक्रमित हुई।
जिसके बाद ऋषिकेश के बीस बीघा सहित आवास विकास के शिवा एनक्लेव व आवास विकास के ही एक अन्य क्षेत्र को कंटेनमेंट जोन बनाकर सील कर दिया गया था। सबसे पहले कंटेनमेंट जोन बने बीस बीघा क्षेत्र में भी अभी तक कंटेनमेंट की अवधि पूरी नहीं हुई थी कि रविवार को कोरोना ने ऋषिकेश के अंदरुनी क्षेत्र आशुतोष नगर में भी दस्तक दे दी और इसके साथ ही आशुतोष नगर की गली नंबर नौ को कंटेनमेंट जोन घोषित कर सील कर दिया गया है।
ऋषिकेश में लगातार बढ़ रहे कोरोना संक्रमण के मामलों ने तीर्थनगरी वासियों की ङ्क्षचता बढ़ा दी है। अब तीर्थनगरी में दूसरे राज्य से लौटे प्रवासी से संक्रमण का मामला सामने आया है। पिछले कुछ दिनों से प्रवासियों की घर वापसी का सिलसिला लगातार तेज हो गया है। पर्वतीय जनपदों के प्रवासियों को भी पहले ऋषिकेश ही पहुंचाया जा रहा है, ऐसे में कोरोना संक्रमण का खतरा तीर्थनगरी में ज्यादा बढ़ गया है।
कंटेनमेंट जोन में लोगों को पाबंदी समाप्त होने का इंतजार
सबसे पहले कंटेनमेंट जोन बने बीस बीघा क्षेत्र में कंटेनमेंट की अवधि अब समाप्त होने को है। नियमानुसार कोरोना संक्रमित मामला सामने आने के बाद किसी क्षेत्र को 28 दिन के लिए कंटेनमेंट जोन बनाया जाता है। बीस बीघा क्षेत्र में 26 अप्रैल को पहला मामला सामने आया था। इस तरह बीस बीघा क्षेत्र में कंटेनेमेंट की अविधि अब करीब एक सप्ताह की रह गई है। इसी तरह आवास विकास के शिवा एनक्लेव व दूसरे मौहल्ले में अभी एक सप्ताह से अधिक का इंतजार करना होगा।
पुलिस फोर्स की भी आ रही समस्या
कंटेनमेंट जोन के बढ़ने से अब फोर्स की समस्या सामने आने लगी है। पुलिस ने सबसे पहले बीस बीघा क्षेत्र के कंटेनमेंट जोन में फोर्स तैनात की थी, जहां अभी तक कंटेनमेंट की अवधि पूर्ण नहीं हो पाई है और यहां अभी तक फोर्स तैनात है। इसी तरह आवास विकास में भी शिवा एनक्लेव व एक अन्य क्षेत्र को कंटेनमेंट जोन बनाया गया है, जहां पुलिस फोर्स अभी तक तैनात है। रविवार को आशुतोष नगर में बनाए गए कंटेनमेंट जोन में भी फोर्स की तैनाती कर दी गई है। इतना ही नहीं उक्त कंटेनमेंट जोन को सील करने के लिए पुलिस के पास अब बैरिकेङ्क्षटग भी कम पड़ने लगी हैं।
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ऋषिकेश में अब तक सामने आये कोरोना के मामले
- 26 अप्रैल: बीस बीघा निवासी एम्स के नर्सिंग आफिसर में हुई थी कोरोना संक्रमण की पुष्टि
- 28 अप्रैल : लालकुआं निवासी बीमार महिला की रिपोर्ट आई थी कोरोना पॉजिटिव
- 28 अप्रैल : रुड़की निवासी बीमार महिला की तीमारदार में कोरोना संक्रमण की पुष्टि
- 28 अप्रैल : आवास विकास शिवा एनक्लेव निवासी एम्स की स्टाफ नर्स में मिला था कोरोना संक्रमण
- 30 अप्रैल : एम्स की महिला इंटर्न में मिला था कोरोना संक्रमण
- 03 मई : आवास विकास निवासी एम्स की स्टाफ नर्स में मिला था कोरोना संक्रमण
- 04 मई : पौड़ी निवासी मरीज की महिला तीमारदार की रिपोर्ट आई थी कोरोना पॉजिटीव
- 08 मई : रुड़की निवासी व्यक्ति में हुई थी कोरोना की पुष्टि
- 13 मई : देहरादून निवासी महिला में मिला कोरोना संक्रमण
- 15 मई : देहरादून निवासी महिला के पुत्र में मिला कोरोना संक्रमण
- 17 मई : महाराष्ट्र से आए आशुतोष नगर निवासी युवक में मिला कोरोना संक्रमण
- नोट : इन मामलों में आवास विकास निवासी स्टाफ नर्स अब कोरोना मुक्त होकर घर आ चुकी हैं, जबकि एक महिला की मौत हो चुकी है।