तो उद्यमिता के क्षेत्र में नई इबारत लिखेगा उत्तराखंड
सरकार की कोशिशें कामयाब रहीं तो अगले दो-तीन सालों में उत्तराखंड उद्यमिता के क्षेत्र में नई इबारत लिख सकता है।
राज्य ब्यूरो, देहरादून
सरकार की कोशिशें कामयाब रहीं तो अगले दो-तीन सालों में उत्तराखंड उद्यमिता के क्षेत्र में नई इबारत लिख सकता है। प्रचंड बहुमत के साथ सत्ता में आई त्रिवेंद्र सिंह रावत सरकार के सामने बेरोजगारी पर अंकुश लगाने, रोजगार के नए मौके पैदा करने और राज्य की आर्थिकी को मजबूत बनाने की चुनौती है। पर्यटन के साथ ही सौर ऊर्जा व पिरूल से बिजली उत्पादन को उद्योग का दर्जा मिलने से स्थानीय स्तर पर नए उद्यमों की मजबूत जमीन तैयार हो गई है। इससे करीब 60 हजार लोगों को प्रत्यक्ष और परोक्ष रोजगार उपलब्ध हो सकेगा।
त्रिवेंद्र सरकार के ढाई साल के कार्यकाल को उद्यमों को प्रोत्साहन देने के लिहाज से अहम माना जा सकता है। इस अवधि में ही 11 हजार से अधिक उद्यमों की स्थापना हुई है। इससे करीब 80 हजार लोगों को रोजगार मिला है। राज्य बनने के 17 वर्षो की अवधि में 40 हजार करोड़ का निवेश हुआ, वहीं बीते वर्ष इन्वेस्टर्स समिट के बाद से अब तक करीब 17 हजार करोड़ रुपये के निवेश की ग्राउंडिंग हो चुकी है। पिरूल व बायोमास आधारित ऊर्जा उत्पादन नीति के तहत अभी तक 21 योजनाएं आवंटित की जा चुकी हैं। संशोधित सौर ऊर्जा नीति में पांच मेगावाट तक सौर ऊर्जा परियोजनाओं को पर्वतीय क्षेत्रों के स्थायी निवासियों के माध्यम से स्थापित किया जाना है। अभी तक 208 लोगों को 148 मेगावाट की परियोजनाओं के आवंटनपत्र सौंपे जा चुके हैं।
पर्यटन को उद्योग का दर्जा मिलने के बाद पर्यटन आजीविका का बड़ा जरिया बन सकेगा। टिहरी झील में सी-प्लेन के संचालन को एमओयू हो चुका है। पिथौरागढ़ में देश का सबसे बड़ा ट्यूलिप गार्डन बनाया जा रहा है। राज्य में फिल्मों के अनुकूल माहौल का ही नतीजा रहा कि केंद्र सरकार ने उत्तराखंड को मोस्ट फ्रेंडली स्टेट फॉर फिल्म शूटिंग घोषित किया है।