प्रसूता को भर्ती न किए जाने के मामले की एसीएमओ करेंगे जांच
चम्पावत में निजी अस्पताल द्वारा प्रसूता को भर्ती न किए जाने के मामले में एसीएमओ जांच करेंगे।
चम्पावत, जेएनएन : मंगलवार सुबह निजी अस्पताल में उपचार कराने आई प्रसूता से भर्ती किए जाने पर 20 हजार रुपये मांगे जाने के मामले में प्रभारी मंत्री के आदेश पर सीएमओ ने एसीएमओ को जांच के आदेश दिए हैं। उन्होंने एसीएमओ से तीन दिन में जांच आख्या मांगी है। जांच शुरू होने के बाद निजी अस्पताल संचालक ने जांच अधिकारी को अपने लिखित बयान दर्ज करा दिए हैं।
गौरतलब है कि खटकना पुल निवासी एक गर्भवती महिला प्रसव पीड़ा से कराहते हुए मंगलवार सुबह पांच बजे जिला अस्पताल पहुंची थी। जहां जिला अस्पताल प्रशासन ने निजी अस्पताल में डीएच को शिफ्ट किए जाने की बात कहकर वहां भेज दिया था। गर्भवती महिला निजी अस्पताल पहुंची। परिजनों का आरोप है कि निजी अस्पताल के स्टॉफ ने भर्ती किए जाने के लिए 20 हजार रुपये मांगे। पैसे न होने की बात कहकर महिला प्रसव पीड़ा के साथ घर चली गई। जहां दाई की मदद से महिला ने बच्चे को जन्म दिया। मामला प्रभारी मंत्री अरविंद पांडे के पास पहुंचा तो मंत्री ने सीएमओ से नाराजगी जाहिर करते हुए जांच कराने के आदेश दिए। जिसके तहत बुधवार को सीएमओ डॉ. आरपी खंडूरी ने एसीएमओ डॉ. इंद्रजीत पांडे को जांच अधिकारी नामित करते हुए तीन दिन के भीतर जांच रिपोर्ट देने का कहा। एसीएमओ ने मामले की जांच शुरू कर दी है और पीड़ित, निजी अस्पताल संचालक व जिला अस्पताल प्रशासन के बयान दर्ज करने शुरू कर दिए हैं।
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जिला अस्पताल हमारे अस्पताल में किस तरह से और कब से संचालित होगा। इसके बारे में मुझे जानकारी नहीं थी और न ही प्रशासन द्वारा दी गई। मरीज सुबह छह बजे आया तो उसे यह बोला गया था कि सरकारी अस्पताल का कोई स्टॉफ यहां अभी नहीं आया है। निजी अस्पताल में उपचार के लिए खर्च लिया जाएगा। पैसों को लेकर मरीज से कोई बात नहीं की गई। उसके पूछने पर उपचार में आने वाला खर्च बताया गया।
-दीपक जोशी, प्रबंधक, जीवन अनमोल अस्पताल।