प्रकृति के सामने नहीं चलता किसी का बस
जाटी, बागेश्वर : सुमगढ़ घटना में जमींदोज सरस्वती शिशु मंदिर के 18 बच्चों की याद में कार्यक्रम आयोजित किए गए। बच्चों को श्रद्धांजलि दी गई। सुमगढ़ से लेकर जिला मुख्यालय तक पौधे रोपित हुए।
तहसील सभागार में जिला श्रमजीवी पत्रकार संगठन के कार्यक्रम में एसपी अमित श्रीवास्तव ने कहा कि प्रकृति के आगे किसी का बस नहीं चलता है। लेकिन आपदाओं को कम किया जा सकता है। जिसके लिए सरकार समय-समय पर आपदा प्रबंधन और खोज बचाव का प्रशिक्षण दे रही है। मुख्य वक्ता चंदन परिहार, घनश्याम जोशी, सुरेश पांडे ने 18 अगस्त 2020 की घटना के बारे में विस्तार से जानकारी दी। वृक्ष पुरुष किशन मलड़ा, रमेश प्रकाश पर्वतीय ने प्राकृतिक आपदाओं को रोकने पर बल दिया। बच्चों की याद में तहसील परिसर पर पौधे रोपित किए गए। कार्यक्रम का संचालन दीपक पाठक ने किया। इस मौके पर महीप पांडे, सुंदर सुरकाली, जगदीश उपाध्याय, शंकर पांडे, संजय साह जगाती, लता, पूरन तिवारी, हिमांशु जोशी आदि मौजूद थे।
बच्चों को दी श्रद्धांजलि
गरुड़ : उत्तराखंड साहित्यकार एवं पत्रकार समिति ने गोष्ठी आयोजित कर सुमगड़ हादसे में मारे गए बच्चों को श्रद्धांजलि दी। साहित्यकार व समिति के अध्यक्ष मोहन जोशी ने अपनी मर्मस्पर्शी न्योली सुनाते हुए कहा कि सुमगड़ बादोवा फाटो, कलेजी टुकुड़ा, स्कूली नानो माथि माटिक थुपुड़ा। इस दौरान डा. हेम चंद्र दुबे, चंद्रशेखर बड़सीला, रमेश बृजवासी, अनिल पांडे आदि मौजूद थे।
सुमगढ़ में शांति पाठ
कपकोट : सरस्वती शिशु मंदिर सुमगढ़ में शांतिपाठ का आयोजन किया गया। इस दौरान जिपं अध्यक्ष बसंती देव, बलवंत भौर्याल, ब्लाक प्रमुख गोविंद दानू, प्रभा गढ़िया, एसडीएम पारितोष वर्मा, सीओ अशोक परिहार, तहसीलदार पूजा शर्मा आदि मौजूद थे। कपकोट के पूर्व विधायक ललित फर्स्वाण सुमगढ़ पहुंचे। उन्होंने हादसे में मारे गए बच्चों को श्रद्धांजलि दी। इस मौके पर दुर्गा, प्रमोद के अलावा स्थानीय लोग मौजूद थे।