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50 छात्र-छात्राओं का भविष्य अधर में लटका

संवाद सूत्र गरुड़ गोमती नदी के उफनाने से सरस्वती शिशु मंदिर सिमखेत मलबे से पट गया है। अब

By JagranEdited By: Published: Wed, 14 Aug 2019 05:50 PM (IST)Updated: Wed, 14 Aug 2019 05:50 PM (IST)
50 छात्र-छात्राओं का भविष्य अधर में लटका
50 छात्र-छात्राओं का भविष्य अधर में लटका

संवाद सूत्र, गरुड़ : गोमती नदी के उफनाने से सरस्वती शिशु मंदिर सिमखेत मलबे से पट गया है। अब यहां पढ़ने वाले 50 छात्र-छात्राओं का भविष्य अधर में लटक गया है। स्कूल प्रबंधन अभिभावकों से बातचीत कर आगे की रणनीति बनाने पर विचार कर रहा है।

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बीते सोमवार को अतिवृष्टि से गोमती नदी उफना गई थी। उसकी जद में आने वाली सभी चीजें बर्बाद हो गई। सिमखेत में नदी के कुछ दूरी पर सरस्वती शिशु मंदिर भी है जहां पर 50 बच्चे पढ़ते हैं। मलबा से स्कूल पूरी तरह पट गया है। जिस कारण वहां के दरवाजे तक नहीं खुल रहे हैं। स्कूल भी जर्जर हालत में पहुंच गया है। स्कूल बुधवार को भी नहीं खुल पाया। स्कूल के हालात भी ऐसे नहीं लग रहे कि वह दोबारा से इसी जगह पर शुरू हो सकेगा। अब अभिभावक अपने पाल्यों के भविष्य को लेकर चितित दिखाई दे रहे हैं। स्कूल के प्रधानाचार्य कुंदन सिंह नेगी ने बताया कि अभिभावकों से बातचीत करने के लिए बैठक बुलाई जाएगी। जिसके बाद आगे की रणनीति तय की जाएगी। स्कूल को किराए के भवन में संचालित करने के लिए विचार बनाया जा रहा है। स्कूल में कितना नुकसान हुआ है अभी आंकलन नहीं किया गया है। संभावना है कि किराए का भवन मिलते ही जल्द स्कूल पूर्व की भांति शुरू हो जाएगा।


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