मानकों की धज्जियां उड़ा रही पेट्रोलियम कंपनियां
संवाद सहयोगी, अल्मोड़ा : पर्वतीय क्षेत्रों में पेट्रोलियम कंपनियों मानकों की धज्जियां उड़ाक
संवाद सहयोगी, अल्मोड़ा : पर्वतीय क्षेत्रों में पेट्रोलियम कंपनियों मानकों की धज्जियां उड़ाकर मानक से अधिक भार वाले वाहनों को पहाड़ चढ़ा रही है। जिस कारण जहां कई बार सड़क हादसे सामने आ चुके हैं। वहीं यह कंपनियां इन हादसों से कोई सबक नहीं ले रही हैं।
बीते दिनों धौलछीना के मंगलता के पास ¨हदुस्तान पेट्रोलियम का एक टेंकर एक वाहन को पास देने के चक्कर में दुर्घटनाग्रस्त हो गया था। जबकि इससे पहले भी पहाड़ की संकरी सड़कों पर पेट्रोलियम कंपनियों के कई वाहन दुर्घटनाग्रस्त हो चुके हैं। ऐसा नहीं है कि पेट्रोलियम पदार्थो द्वारा बरती जा रही मनमानी की जानकारी संभागीय परिवहन विभाग को नहीं है। विभाग के अधिकारियों ने पूर्व में ¨हदुस्तान पेट्रोलियम, भारत पेट्रोलियम और इंडियन ऑयल कार्पोरेशन के अधिकारियों को पत्र भेजकर इस तरह की लापरवाही न बरतने के निर्देश भी जारी किए थे। साथ ही पर्वतीय क्षेत्रों खासकर अल्मोड़ा प्रभाग में वाहनों की अधिकतम परिवहन क्षमता 90 क्िवटल व पेट्रोलियम कंपनियों के लिए बारह हजार लीटर तेल परिवहन की क्षमता निर्धारित की थी। साथ में वाहनों की आयु सीमा बीस वर्ष से कम निर्धारित की थी, लेकिन इसके बाद भी पेट्रालियम कंपनियां अपनी मनमानी से बाज नहीं आ रहे हैं। कंपनियों की इसी लापरवाही का परिणाम है कि पर्वतीय क्षेत्रों में पेट्रोलियम पदार्थ ले जाने वाले वाहनों की दुर्घटनाग्रस्त होने का ग्राफ लगातार बढ़ रहा है।
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पर्वतीय क्षेत्रों में मानकों के अनुसार परिवहन के निर्देश पेट्रोलियम कंपनियों को समय समय पर दिए जाते हैं। लेकिन कुछ कंपनियां इन मानकों का उल्लघंन कर रही है। ऐसे वाहनों के खिलाफ नियमों के अनुसार कार्रवाई सुनिश्चित की जाएगी।
-आलोक जोशी, एआरटीओ अल्मोड़ा