पहाड़ी दरकने से हाईवे पर पत्थरों की बरसात
अल्मोड़ा हल्द्वानी हाईवे पर अति संवेदनशील पहाड़ियों से गिर रहे बोल्डर व पत्थरों से खतरा निरंतर बढ़ता जा रहा है।
संवाद सहयोगी, रानीखेत : अल्मोड़ा हल्द्वानी हाईवे पर अति संवेदनशील पहाड़ियों से गिर रहे बोल्डर व पत्थरों से खतरा बढ़ता ही जा रहा है। रुक रुककर गिर रहे पत्थरों से हाईवे पर आवाजाही खतरे को दावत दे रही है। बावजूद संबंधित विभाग ठोस कदम नहीं उठा रहा। यात्री जान जोखिम में डाल आवाजाही करने को मजबूर हैं।
हाईवे पर अतिसंवेदनशील भौर्या बैंड, लोहाली, जौरासी व नावली की पहाड़ी एक बार फिर बड़ी घटना की ओर इशारा कर रही है। बीते दो दिन हुई बारिश के बाद हाईवे पर जगह-जगह पत्थरों की बरसात हुई। विशालकाय बोल्डर व पत्थर हाईवे के बीचोंबीच तक गिर गए। संयोगवश पहाड़ी से गिरे पत्थरों की चपेट में कोई यात्री व वाहन नहीं आया और बड़ा हादसा टल गया। रविवार को धूप खिलने के बाद भी कई जगह पहाड़ी दरकने से पत्थर गिरते रहे। संबंधित विभाग की लापरवाही का आलम यह है कि देर रात गिरे बोल्डर व पत्थर तक हाईवे से नहीं हटाए जा सके हैं। जिससे यात्री तथा वाहन चालकों को आवाजाही में फजीहत का सामना करना पड़ रहा है। वहीं दुर्घटना का खतरा भी बढ़ता ही जा रहा है। याद रहे कि हाईवे पर लोहाली व जौरासी क्षेत्र में पहाड़ी से गिरे पत्थरों की चपेट में आने से कई लोगों की दर्दनाक मौत भी हो चुकी है।
===============
'हाईवे पर गिरे पत्थर व मलबा हटाने के लिए जेसीबी मशीन तैनात की गई है। लापरवाही कतई बर्दास्त नहीं की जाएगी। जल्द ही पत्थर हटवाए जाएंगे। वहीं सुरक्षात्मक कार्य के लिए करीब चार करोड़ रुपये का प्रस्ताव भेजा गया है। स्वीकृति मिलने के बाद कार्य कराए जाएंगे।
- एलएम तिवारी, सहायक अभियंता, एनएच'