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अरुणाचल प्रदेश में नहीं, लक्षद्वीप में पंजीकृत है चोरी किया गया टैंकर, वाराणसी पुलिस ने दर्ज किया एफआइआर

परिवहन कार्यालय में चोरी के टैंकर दर्ज कराने की कोशिश और बड़ागांव थाने में खड़ा टैंकर की एनओसी अरुणाचल प्रदेश से नहीं बल्कि लक्षद्वीप से आई थी।

By Saurabh ChakravartyEdited By: Published: Wed, 15 Jul 2020 08:20 AM (IST)Updated: Wed, 15 Jul 2020 09:39 AM (IST)
अरुणाचल प्रदेश में नहीं, लक्षद्वीप में पंजीकृत है चोरी किया गया टैंकर, वाराणसी पुलिस ने दर्ज किया एफआइआर
अरुणाचल प्रदेश में नहीं, लक्षद्वीप में पंजीकृत है चोरी किया गया टैंकर, वाराणसी पुलिस ने दर्ज किया एफआइआर

वाराणसी, जेएनएन। परिवहन कार्यालय में चोरी के टैंकर दर्ज कराने की कोशिश और बड़ागांव थाने में खड़ा टैंकर की एनओसी अरुणाचल प्रदेश से नहीं, बल्कि लक्षद्वीप से आई थी। टैंकर मालिक ने लक्षद्वीप से एनओसी लाकर अरुणाचल प्रदेश में दर्ज कराया था। बाद में टैंकर मालिक बनारस के परिवहन कार्यालय में दर्ज कराना चाहता था जिससे पिछला रिकार्ड दिखाई नहीं पड़े। लेकिन टाटा कंपनी ने टैंकर के चेचिस और इंजन नंबर गलत बताते ही सच्चाई सामने आ गई।

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टैंकर नंबर एआर-06ए-2718 और कागज में दर्ज मालिक जावेद हसन जो अलीनगर (चंदौली) का रहने वाला है। वे अरुणाचल प्रदेश के लोहर सुबनसिरी जिले के परिवहन कार्यालय से एनओसी के सहारे बनारस कार्यालय में दर्ज कराना चाहता था। 30 जून को अरुणाचल प्रदेश के परिवहन कार्यालय में पत्र भेजकर सत्यापन कराया गया। वहां से रिपोर्ट आई कि टैंकर चार मार्च-2020 को एनओसी लेकर बनारस गई है। वहीं, टाटा कंपनी ने ई-मेल पर सूचना दी कि उक्त चेचिस और इंजन नंबर कोई टैंकर नहीं है। एआरटीओ की तहरीर पर बड़ागांव पुलिस ने टैंकर मालिक के खिलाफ धारा 419, 420 में मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। जांच अधिकारी उप निरीक्षक स्वतंत्र कुमार यादव ने कार्यालय पहुंचकर प्राविधिक निरीक्षक से पूछताछ की। परिवहन विभाग की जांच में मालूम चला कि टैंकर मालिक एनओसी लक्षद्वीप लेकर आया था और उसमें अरुणाचल प्रदेश में दर्ज कराया था।

चोरी के ट्रकों के पंजीयन में परिवहन लिपिक तलब

परिवहन कार्यालय में पिछले दिनों चोरी के ट्रकों के पंजीयन के मामले में चल रही एसआइटी जांच में टीम ने पंजीयन लिपिक को तलब किया है। टीम ने परिवहन आयुक्त धीरज साहू को पत्र लिखकर तत्कालीन पंजीयन लिपिक सुरेश चंद्र मालवीय को बयान के लिए भेजने को कहा है। चोरी के  ट्रकों के पंजीयन में आरोपित लिपिक निलंबित होने के साथ जेल से जमानत पर बाहर है। इस मामले में दो एआरटीओ भी निलंबित हुए थे जिसे पिछले सप्ताह शासन ने कंडीशनल बहाल कर दिया है। अभी तक उनकी कहीं तैनाती नहीं हुई है।मध्य प्रदेश में पंजीकृत 24 ट्रकों का झारखंड से टेंपरेरी नंबर (टीआर) के सहारे फर्जी सेल लेटर की मदद से लोगों ने परिवहन कार्यालय में पांच ट्रकां का पंजीयन करा लिया। उप परिवहन आयुक्त लक्ष्मीकांत मिश्रा खुद कार्यालय पहुंचकर जांच की तो ट्रकों की संख्या 25 पहुंच गई। हालांकि एक ट्रक को आरसी जारी नहीं हो पाई थी। डीटीसी के निर्देश पर एआरटीओ (प्रशासन) सर्वेश कुमार सिंह की तहरीर पर बड़ागांव पुलिस ने दो जनवरी को मुकदमा दर्ज किया था।


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