वाराणसी में होटलों के खराब खाने से बनेगी खाद, शहर के 40 होटल और रेस्टोरेंट संचालकों को दी गई जानकारी
ठोस अपशिष्ट प्रबंधन के तहत नगर निगम प्रशासन ने सोमवार को नगर के 40 होटल और रेस्टोरेंट संचालकों एवं उनके प्रबंधकों को बुलाकर इसकी जानकारी दी गई।
वाराणसी, जेएनएन। होटलों और रेस्टोरेंटों में बेकार हुए खाने अब फेंके नहीं जाएंगे। इससे खाद बनाकर जहां खाने को नालों में और खुले स्थानों में फेंकने से बचाया जाएगा, वहीं खाद से गुणवत्तायुक्त फल एवं सब्जियों का उत्पादन किया जा सकेगा।
ठोस अपशिष्ट प्रबंधन के तहत नगर निगम प्रशासन ने सोमवार को नगर के 40 होटल और रेस्टोरेंट संचालकों एवं उनके प्रबंधकों को बुलाकर इसकी जानकारी दी गई। प्रशिक्षण देने के लिए नई दिल्ली से ऊर्जा एवं संसाधन संस्थान के विशेषज्ञों को बुलाया गया था। प्रशिक्षण के बाद संचालकों को होटल ताज में ले जाकर वहां बेकार खाने से खाद बनाने की विधि दिखाई गई। छावनी क्षेत्र स्थित एक होटल में आयोजित कार्यशाला में प्लास्टिक कचरा, इलेक्ट्रानिक कचरा और अन्य तरह के कचरा के बारे में जानकारी दी गई। नई दिल्ली से आए डा. सुनील पांडेय एवं जय कुमार ने बारी-बारी से फोटोग्राफ के माध्यम से समझाया।
कार्यशाला में नगर आयुक्त गौरांग राठी ने मौके पर मौजूद होटल और रेस्टोरेंट संचालकों और प्रबंधकों को समझाया कि वे अपने परिसर के अंदर ही सूखे व गीले कूड़े को अलग-अलग करते हुए अपने परिसर में कंपोस्ट बनाएं। इस दौरान ठोस अपशिष्ट प्रबंधन नियमावली 2016 के विषय में विस्तार से जानकारी दी गई कि क्या-क्या चीजें प्रतिबंधित हैं। नगर निगम के संयुक्त नगर आयुक्त विक्रमादित्य मलिक ने संचालकों और प्रबंधकों को धन्यवाद देते हुए कार्यशाला का समापन किया।
आगामी कार्यशाला
नगर आयुक्त ने 21 नवंबर को छावनी क्षेत्र स्थित एक होटल में आयोजित कार्यशाला में भी सभी से आने की अपील की। साथ ही 31 नवंबर को प्लास्टिक अपशिष्ट से संबंधित बैठक में भी उन्हें आमंत्रित किया। उन्होंने कहा कि अपने परिसर में निकलने वाले अपशिष्ट की मात्रा को नगर स्वास्थ्य अधिकारी रामसकल यादव को नोट करा दें जिससे हम उनके अपशिष्ट की मात्रा के अनुसार उन्हें निस्तारण के लिए कार्य योजना बनाकर दें सकें।