विरोध प्रदर्शन : चल-चल मेरे हाथी, ओ मेरे साथी, चल ले चल खटारा खींच कर
पेट्रोल डीजल के दामों में महंगाई की आंच को लेकर शुक्रवार को चल-चल मेरे हाथी, ओ मेरे साथी, चल ले चल तेल के अभाव में, के नारे संग खटारा गाड़ी को खींचकर ले जाया गया।
वाराणसी (जेएनएन) । पेट्रोल-डीजल के मूल्य मे नित्य-प्रतिदिन निजी कंपनियों द्वारा किए जा रहे अप्रत्याशित रुप से बढ़ोतरी से आजिज लोगों ने काशी में अनोखा विरोध प्रदर्शन किया। सरकार के साढ़े चार साल के कार्यकाल में अपने सबसे उच्चतम दर पर पहुंचे पेट्रोल- डीजल के मूल्य पर देश की आक्रोशित जनता की आवाज सरकार तक पहुंचाने व पेट्रोल-डीजल को जीएसटी के दायरे में लाने की मांग को लेकर सामाजिक संस्था सुबह-ए-बनारस क्लब के बैनर तले विरोध प्रदर्शन हुआ। संस्था के अध्यक्ष मुकेश जायसवाल के नेतृत्व में चल-चल मेरे हाथी, ओ मेरे साथी, चल ले चल तेल के अभाव में के नारे संग पड़े हुए खटारा गाड़ी को खींचकर ले जाया गया। विश्वेश्वरगंज चौराहे पर हाथी से रस्सी के सहारे कार खिंचवा कर पेट्रोल-डीजल के मूल्य वृद्धि का व्यंग्यात्मक एवं अनोखा रुप से विरोध-प्रदर्शन किया गया।
संस्था के अध्यक्ष मुकेश जायसवाल ने कहा कि जिस प्रकार से मंहगे कच्चे तेल का रोना रोकर सरकार पेट्रोल-डीजल के मूल्य मे वृद्धि करने की छूट दी है। इससे देश की जनता के अन्दर आक्रोश की भावना जन्म लेती जा रही है। गौरतलब है कि वाराणसी शहर मे पेट्रोल 82/रुपये प्रति लीटर व डीजल 74/रुपये प्रति लीटर का पार कर चुका है। इस मुद्दे पर जनता सरकार की खामोशी पर हैरान है, पिछले दिनों केंद्र सरकार ने पेट्रोल-डीजल के मुद्दे पर बैठक भी किया था, मगर कहावत ढाक के तीन पात साबित हुआ। आखिर कब चेतेगी सरकार? ना तो सरकार पेट्रोल-डीजल पर जरूरत से ज्यादा थोपे गए एक्साईज डयूटी को घटा रही है, और ना तो एक देश एक टैक्स का नारा देने के बाद पेट्रोल-डीजल को जीएसटी के दायरे मे ला रही है। शनैः शनैः करके यह समस्या देश के लिए गम्भीर रूप धारण करती जा रही है, आगे चलकर जिसका अनदेखी करना सरकार के बूते की बात नही होगी। विराेध प्रदर्शन में मुख्य रुप से कोषाध्यक्ष नन्द कुमार टोपीवाले, चन्दशेखर चौधरी, अनिल केशरी, प्रदीप गुप्ता, विष्णु शर्मा, सुनिल अहमद खान, डा० मनोज यादव, पंकज पाठक, संजू विश्वकर्मा, अभिषेक विश्वकर्मा, बल्लभ अग्रवाल, रामजी रस्तोगी, विजय जायसवाल आदि लोग शामिल रहे।