Move to Jagran APP

वाराणसी में एडिशनल सीएमओ के परिजनों को करना पड़ा दो शव का अंतिम संस्कार, दर्ज कराएंगे मुकदमा

बीएचयू अस्पताल के कोविड 19 वार्ड में लगातार लापरवाही के मामले उजागर हो रहे हैं बुधवार को भी एक और नया कारनामा उजागर हुआ जिसके बाद जमकर हंगामा हुआ।

By Saurabh ChakravartyEdited By: Published: Wed, 12 Aug 2020 06:26 PM (IST)Updated: Wed, 12 Aug 2020 06:26 PM (IST)
वाराणसी में एडिशनल सीएमओ के परिजनों को करना पड़ा दो शव का अंतिम संस्कार, दर्ज कराएंगे मुकदमा
वाराणसी में एडिशनल सीएमओ के परिजनों को करना पड़ा दो शव का अंतिम संस्कार, दर्ज कराएंगे मुकदमा

वाराणसी, जेएनएन। बीएचयू अस्पताल के कोविड 19 वार्ड में लगातार लापरवाही के मामले उजागर हो रहे हैं बुधवार को भी एक और नया कारनामा उजागर हुआ जिसके बाद जमकर हंगामा हुआ। अस्पताल सूत्रों के अनुसार मंगलवार की रात ढाई बजे दो लोगों की मौत हुई थी जिसमें पहले स्वास्थ्य विभाग के एडिशनल सीएमओ डॉ जंगबहादुर की मौत हुई और उसके उसी समय एक और मरीज आये केशव चंद्र श्रीवास्तव जिनकी मौत हो गयी। दोनों शव को मर्चरी में रखा गया था जिसमे पहले जंगबहादुर के परिजनों को बुलाकर शव को पीपीई किट में लपेटकर दे दिया गया और लेकर चले गए। हरिश्चंद्र घाट पर अंत्येष्टि भी कर दिए। 11.30 बजे केशव चंद्र श्रीवास्तव के परिजनों को शव के लिए बुलाया गया तो उन्होंने मुंह खोलकर दिखाने को कहा और जब शव देखे तो होश उड़ गए क्योंकि शव उनका नहीं था। केशव चंद्र मूल रूप से गाजीपुर के रहने वाले थे और कलेक्ट्रेट में प्रशासनिक पद से रिटायर हुए थे। केशव चंद्र के तीन बेटों में अनुपम श्रीवास्तव बनारस के कई थानों पर प्रभारी रह चुके हैं जिनकी वर्तमान में फ़ूड विजलेंस में तैनाती है। अनुपम श्रीवास्तव ने बताया कि बीएचयू अस्पताल की लापरवाही ने पिता की अंत्येष्टि का अधिकार भी हमसे छीन लिया जिसके कारण पूरा परिवार परेशान है। अनुपम के अनुसार बीएचयू प्रशासन के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराएंगे।

loksabha election banner

एडिशनल सीएमओ के परिजनों को करना पड़ा दूसरे शव का अंतिम संस्कार

एडिशनल सीएमओ के बेटे को हरिश्चंद्र घाट पर एक ही दिन दो चिताओं की अंत्येष्टि करनी पड़ी। एडिशनल सीएमओ डॉ जंगबहादुर के परिजनों को बुधवार की सुबह फ़ोन से मौत की जानकारी दी गई। बीएचयू पहुंचे परिजनों को शव पीपीई किट में सौंप दिया गया और ले जाकर अंत्येष्टि कर दिए। घाट पर ही जब फोन से जानकारी मिली कि वो शव दूसरे का था तो सुनकर चौंक गए और बीएचयू प्रशासन की करतूतों को कोस रहे थे। सूचना के बाद परिजन फिर से मर्चरी पहुंचे जहां से शव लेकर हरिश्चंद्र घाट गए और दूसरी बार अंत्येष्टि की प्रकिया करनी पड़ी। घाट पर ही दोनों परिजनों ने अंतिम संस्कार की प्रकिया करते हुए मृत प्रमाणपत्र आपस मे एक दूसरे को दिया और चले गए। बीएचयू के इस कारनामे को लेकर घाट पर पहुचे परिजनों में भी काफी आक्रोश था।

लिखित शिकायत के बाद भी नहीं जागा बीएचयू प्रशासन, चौकी प्रभारी भी हुए संक्रमित

बीएचयू परिसर में स्थित बीएचयू चौकी के पास कोरोना पॉजिटिव सुरक्षा कर्मियों को रखने के बारे में बीएचयू चौकी प्रभारी अमरेंद्र पांडेय ने लिखित रूप से बीएचयू प्रशासन को शिकायत किया था कि चौकी के पास ही कोरोना पॉजिटिव सुरक्षा गार्डों से संक्रमित होने का खतरा हो सकता है लेकिन उसपर कोई ध्यान नही दिया गया और खुद चौकी प्रभारी संक्रमित हो गए।इस मामले में इंस्पेक्टर लंका महेश पांडेय ने बताया कि चीफ प्रॉक्टर से बात किया गया था लेकिन जगह के अभाव का हवाला देते हुए उन्हें मना कर दिये।

कोविड वार्ड में लगातार लापरवाही से बीएचयू में हो रहे हंगामे

-हरिश्चंद्र कालेज के छात्रनेता कक्कू की मौत के बाद अस्पताल की दुर्व्यस्था को लेकर काफी हंगामा हुआ था ।

- रिटायर आयकर अधिकारी डॉ अनिल सिंह की मौत के बाद उनकी लाखों की अंगूठी और दो मोबाइल नही मिलने पर परिजनों ने अस्पताल में हंगामा करने के बाद लंका थाने पर चोरी की तहरीर दिए

-जेल से आये कैदी की बिना निगेटिव रिपोर्ट आये ही डिस्चार्ज को लेकर हंगामा हुआ जिसके बाद बीएचयू प्रशासन ने कैदी के परिजनों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.