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11 न्यायिक कर्मचारियों को मिला एंड्रायड फोन

उच्च न्यायालय इलाहाबाद के निर्देश पर ई-कोर्ट प्रोजेक्ट के माध्यम से अब न्यायालयों में आदेशिकाओं की तालीमा एन-स्टेप के माध्यम से किया जाएगा। इसी क्रम में शनिवार को जनपद न्यायालय में अपर न्यायाधीश नेत्रपाल सिंह ने 11 न्यायिक कर्मचारियों को एंड्रायड फोन दिया।

By JagranEdited By: Published: Sat, 06 Mar 2021 09:58 PM (IST)Updated: Sat, 06 Mar 2021 09:58 PM (IST)
11 न्यायिक कर्मचारियों को मिला एंड्रायड फोन
11 न्यायिक कर्मचारियों को मिला एंड्रायड फोन

जागरण संवाददाता, सोनभद्र : उच्च न्यायालय इलाहाबाद के निर्देश पर ई-कोर्ट प्रोजेक्ट के माध्यम से अब न्यायालयों में आदेशिकाओं की तालीमा एन-स्टेप के माध्यम से किया जाएगा। इसी क्रम में शनिवार को जनपद न्यायालय में अपर न्यायाधीश नेत्रपाल सिंह ने 11 न्यायिक कर्मचारियों को एंड्रायड फोन दिया। इस दौरान कर्मचारियों को एन-स्टेप की जानकारी भी दी गई। बताया कि हाई कोर्ट के निर्देश पर सभी न्यायालयों में आदेशों को तामील कराने वाले कर्मचारियों को हाईटेक किया जाएगा। जिसके क्रम में जिले के 11 नोटिस सर्वर कर्मचारियों मोबाइल फोन दिया गया। बताया कि इस योजना का मूल उद्देश्य न्यायिक प्रक्रिया को अधिक पारदर्शी व विश्वनीय बनाना है। इससे समय व धन दोनो की बचत होगी। इसके साथ ही न्यायिक कार्यों में तेजी आएगी। इस मौके पर न्यायिक अधिकारी अशोक कुमार, न्यायाधीश नेत्रपाल सिंह, प्रशासनिक अधिकारी कौशल कुमार अस्थाना, अंबरीष पाठक, एलजी सिंह, आदर्श कुमार कुशवाहा आदि रहे। दहेज हत्या में पति को 10 साल की सजा

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जागरण संवाददाता, सोनभद्र : अपर सत्र न्यायाधीश द्वितीय नेत्रपाल सिंह की अदालत ने शनिवार को दहेज हत्या के मामले में दोषी पति दूधनाथ बिद को 10 साल की कैद व 5 हजार रुपये अर्थदंड की सजा सुनाई। अर्थदंड न देने पर दो माह की अतिरिक्त सजा भुगतनी होगी।

अभियोजन पक्ष के मुताबिक चोपन थाने में सात अप्रैल 2013 को दी गई तहरीर में बीजपुर थाना क्षेत्र के जरहा निवासी रामनरेश ने अवगत कराया है कि उसने अपनी बेटी शांति की शादी पौने दो साल पूर्व चोपन थाना क्षेत्र के अम्माटोला कोटा निवासी दूधनाथ बिद उर्फ लल्ला बिद के साथ की थी। बेटी जब विदा होकर अपनी ससुराल गई तो उसका पति दहेज में बाइक एवं 50 हजार रुपये नगद की मांग को लेकर बेटी को प्रताड़ित करने लगा। दहेज की मांग पूरी नहीं हुई तो 31 मार्च 2013 को बेटी शांति को घर में ही जिदा जलाकर मार दिया गया। तहरीर के आधार पर दहेज हत्या की प्राथमिकी दर्ज कर पुलिस ने विवेचना शुरू कर दी। पर्याप्त सबूत मिलने पर विवेचक ने न्यायालय में चार्जशीट दाखिल किया। मामले की सुनवाई करते हुए अदालत ने पति दूधनाथ बिद उर्फ लल्ला बिद को 10 साल की कैद एवं 5 हजार रुपये अर्थदंड की सजा सुनाई।


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