जिला अस्पताल में बाहरी लिख रहे मरीजों की जांच
जिला अस्पताल में मरीजों की जान के साथ खिलवाड़ किया जा रहा है।
सीतापुर : जिला अस्पताल को डॉक्टर कम, बाहरी व्यक्ति अधिक चला रहे हैं। सीएमएस यह बात खुद पकड़ी है। गुरुवार को उन्होंने सभी डॉक्टरों को पत्र भेजकर बाहरी व्यक्तियों से मरीजों की जांच न लिखवाने की कड़ी चेतावनी दी गई है। दरअसल, आए दिन देखने और सुनने को मिलता है कि जिला अस्पताल में ओपीडी करने वाले डॉक्टरों ने बाहरी लोगों को पनाह दे रखी है। डॉक्टर इन लोगों से अपने काम तो कराते ही हैं, डॉक्टर के साथ रहते-रहते ये लोग मरीजों की समस्या सुनकर पर्चे पर उनकी जांच खुद ही लिखने लगते हैं। ऐसे मामले कई बार चर्चा में आए, लेकिन जिम्मेदारों के एक्शन न लेने से मामले दबते गए। मामले को लेकर 21 जून को जारी सीएमएस डॉ. अनिल अग्रवाल के पत्र से जिला अस्पताल में डॉक्टरों से लेकर स्वास्थ्य कर्मी सकते में हैं। सीएमएस के पत्र में कहा गया है कि डॉक्टर खुद जांच फार्म नहीं भरते हैं और न ही जांच लिखते हैं। इसके लिए डॉक्टर बाहरी व्यक्तियों से मदद लेते है, ऐसा करना नियमों के खिलाफ है। पत्र के जरिए सभी रेडियोलॉजिस्ट, पैथालॉजिस्ट, सीटी स्केन टेक्नीशियन को भी आदेश दिए गए हैं कि संबंधित बीमारी के विशेषज्ञ डॉक्टर जब तक पर्चे पर जांच और हस्ताक्षर करके नहीं देता है, कोई जांच न की जाए। सीएमएस के इस पत्र से डॉक्टरों और बाहरी लोगों में खलबली है। मैं कल अपने आवास से निकल रहा था। मेरे गेट पर ही एक व्यक्ति सरकारी पर्चे पर बुजुर्ग की जांच लिख रहा था। फटकारने पर वह मौके से भाग गया। इसको लेकर कड़े निर्देश दिए गए हैं।
डॉ. अनिल अग्रवाल, सीएमएस
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