आठ वर्ष से उपेक्षित जच्चा बच्चा केंद्र
सिद्धार्थनगर : गर्भवती महिलाओं व नवजात शिशुओं की देखभाल के लिए ग्राम पंचायतों में खोले गए जच्चा बच्च
सिद्धार्थनगर : गर्भवती महिलाओं व नवजात शिशुओं की देखभाल के लिए ग्राम पंचायतों में खोले गए जच्चा बच्चा केंद्र की दशा बद से बदतर ही होती जा रही है। लाखों रुपये सरकारी धन खर्च कर बनाए गए भवन या तो लावारिस हैं या फिर जर्जर हो ढहने की राह देख रहे हैं। बानगी के तौर पर विकास खंड खेसरहा के ग्राम पंचायत बनौली में 10 वर्ष पूर्व आठ लाख की लागत से बने प्रसव केंद्र को लिया जा सकता है।
यह केंद्र निर्मित होने के बाद से लावारिस है। देखरेख न होने से दीवारों पर काई जमा हो गई। पूरा परिसर झाड़ियों की गिरफ्त में आ चुका है। रात में कौन कहे बरसात में यहां दिन में भी आने में डर लगता है। ऐसे में गर्भवती महिलाओं व उनके नवजात का यहां आना कितना सुरक्षित माना जा सकता है। यहां न तो कोई एएनएम तैनात है न ही अंदर इसके कोई सुविधा ही जिससे यहां रूका जा सके। संदीप, आशुतोष त्रिपाठी, बैजनाथ, जनार्दन, राम लाल चौबे, राम अनुज आदि का इस केंद्र के प्रति स्वास्थ्य विभाग उदासीन बना हुआ है। लोगों ने दिन में तैनाती के साथ यहां रात में भी एएनएम को रोकने की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए।
सीएचसी खेसरहा प्रभारी डॉ आरजी सिंह ने कहा कि इस केंद्र में कुछ कमियां रह गई है। मैंने केंद्र का निरीक्षण किया था। ठेकेदार ने अधूरा कार्य कर खाते से मद का पूरा धन निकाल लिया है। फिर भी कोशिश होगी कि मरीजों व उनके तीमारदारों को भवन में मौजूद कमियों को अविलंब दूर कर उन्हें राहत पहुंचाई जाए।