फसलों की क्षति देख किसान बेबस
पिछले दिनों तेज हवाओं के बीच हुई बारिश के बाद खेतों में अब पता चल रहा है, कि बारिश फसलों के लिए कितनी नुकसानदेह साबित हुई और क्या-क्या क्षति हुई। खेतों में गिरी फसलों को देख, किसान बेबसी के आंसू बहाने के सिवा कुछ नहीं कर पा रहे हैं।
सिद्धार्थनगर : पिछले दिनों तेज हवाओं के बीच हुई बारिश के बाद खेतों में अब पता चल रहा है, कि बारिश फसलों के लिए कितनी नुकसानदेह साबित हुई और क्या-क्या क्षति हुई। खेतों में गिरी फसलों को देख, किसान बेबसी के आंसू बहाने के सिवा कुछ नहीं कर पा रहे हैं।
बारिश चलते सर्वाधिक नुकसान सरसो व आलू की फसल पर पड़ा है। मौसम की मार ने किसानों की उम्मीदों पर पानी फेरने का काम किया है। खेतों में खड़ी सरसों की फसल जहां जमीन पर गिर गई है, इससे उत्पादन प्रभावित होगा। आलू के खेतों में पानी भर गया है, जिससे आलू सड़ने की संभावना बढ़ गई है। किसान कैलाश ¨सह का कहना है, जो सरसों कि फसलें खेतों में गिर गई हैं उसका दाना काला पड़ जाएगा, और चमक फीकी पड़ जाएगी। ऐसे में उत्पादन बुरी तरह प्रभावित हो जाएगा। रामफेर चौधरी ने कहा कि मौसन ने एक ही झटके पर अच्छे उत्पादन की उम्मीद को धूमिल कर दिया है। बाबूराम यादव का कहना है कि कि अभी तो सरसो व आलू की फसल का नुकसान हुआ है, अगर आगे भी मौसम कुछ दिन इसी तरह खराब रहा, तो फिर गेहूं के उत्पादन पर भी बुरा असर पड़ेगा।