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बारिश में भीगते शव को बचाने की करते रहे जद्दोजहद

बारिश में भीगते शव को बचाने की करते रहे जद्दोजहद

By JagranEdited By: Published: Sun, 22 May 2022 11:19 PM (IST)Updated: Sun, 22 May 2022 11:19 PM (IST)
बारिश में भीगते शव को बचाने की करते रहे जद्दोजहद
बारिश में भीगते शव को बचाने की करते रहे जद्दोजहद

बारिश में भीगते शव को बचाने की करते रहे जद्दोजहद

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शामली, जागरण टीम। शव का अंतिम संस्कार करने में जद्दोजहद करते हुए ग्रामीणों का वीडियो सोशल मीडिया में वायरल हो रहा है। बारिश में भीगते शव व ग्रामीणों का वायरल वीडियो सरकार की व्यवस्थाओं को लेकर चर्चा का विषय बना है। ग्राम प्रधान ने डीपीआरओ को सूचना दी। साथ ही, श्मशान स्थल पर शेड बनवाने का भरोसा दिलाया है। इंटरनेट मीडिया में एक वीडियो तेजी से वायरल हो रहा है। जिसमें खुले आसमान के नीचे बरसात से बचने के लिए कुछ लोग एक बड़ी तिरपाल के नीचे खड़े नजर आ रहे हैं। मामला थानाभवन क्षेत्र के गांव भैसानी इस्लामपुर का है। गांव भैसानी इस्लामपुर में 80 वर्षीय अनुसूचित जाति के नत्थन की बीमारी के चलते मौत हो गई थी। अंतिम संस्कार के लिए लोग नत्थन के शव को लेकर श्मशान में पहुंचे तभी बारिश शुरू हो गई। श्मशान में अंतिम संस्कार करने के लिए छत की कोई व्यवस्था न होने के कारण लोगों ने जैसे-तैसे गांव से पन्ने का एक बड़ा तिरपाल मंगाकर शव को भीगने से बचाया और अंतिम संस्कार के लिए ईंधन को भी भीगने से बचाते रहे। जब तक बरसात चली तब तक लोग इसी जद्दोजहद में रहे। बरसात बंद होने के बाद बमुश्किल गीले सूखे ईंधन से नत्थन का अंतिम संस्कार किया गया। ग्रामीणों ने इस वीडियो को सोशल मीडिया में वायरल कर दिया। अब वायरल वीडियो चर्चा का विषय बना है कि जब गांव-गांव में शहर जैसा विकास किए जाने के दावे किए जाते हैं, ऐसे में ये तस्वीरें सरकारी दावों की पोल खोलने के लिए पर्याप्त हैं। भैसानी इस्लामपुर 11,000 से ज्यादा मतदाताओं के निवास वाला मुस्लिम बहुल गांव है। गांव में 300 मतदाता अनुसूचित जाति के हैं। ग्रामीणों के अनुसार गांव में चार बीघा जमीन श्मशान की है, लेकिन आज तक न तो किसी ने श्मशान में अंतिम संस्कार के लिए किसी छत की व्यवस्था की है और न ही श्मशान की चारदीवारी की गई है। ग्राम प्रधान भैसानी इस्लामपुर आदिल ने बताया कि डीपीआरओ से बात हो गई है, जल्द ही श्मशान स्थल पर शेड का निर्माण किया जाएगा।


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