बिजली की कीमतों का विरोध, रालोद ने बुलंद की आवाज
जागरण संवाददाता, शामली : बिजली की बढ़ी दरों समेत किसानों की विभिन्न समस्याओं के विरोध में र
जागरण संवाददाता, शामली : बिजली की बढ़ी दरों समेत किसानों की विभिन्न समस्याओं के विरोध में रालोद ने कलेक्ट्रेट में आवाज बुंलद की। पदाधिकारियों व कार्यकर्ताओं ने नारेबाजी करते हुए भाजपा सरकार को जमकर खरी खोटी सुनाई। नलकूप व घरेलू कनेक्शन की बढ़ी दरों को कम करने की पुरजोर वकालत की। इस दौरान प्रदेश में बढ़ी बिजली कीमत को वापस लेने की मांग करते हुए डीएम के माध्यम से ज्ञापन राज्यपाल को भेजा गया।
बुधवार को धरने पर नारेबाजी करते हुए पदाधिकारियों ने बिजली की दरों को वापस लेने की मांग की। जिलाध्यक्ष योगेंद्र चेयरमैन ने कहा कि उप्र की किसान-मजदूर विरोधी वर्तमान सरकार ग्रामीण अर्थव्यवस्था को तबाह करने के लिए एक कदम आगे बढ़ चुकी है। सरकार ने चालू वित्तीय वर्ष में ग्रामीण क्षेत्र की बिजली दरों में 260 फीसद से 350 फीसद तक की वृद्धि कर ग्रामीण उपभोक्ता पर असहनीय भार डाल दिया है। पदाधिकारियों ने कहा कि भ्रष्ट नेताओं और अफसरों के चारागाह बने ऊर्जा निगम की सकर्मण्यता का बोझ सरकार द्वारा गरीब किसान व मजदूर पर डालने की साजिश रची जा रही है। इसे रालोद सफल नहीं होने देगा। इस मौके पर नौ सूत्रीय ज्ञापन देकर मांग की गई कि नलकूप बिजली कनेक्शन का बिल करीब दो हजार रुपये लेना उचित नहीं है। वर्तमान वर्ष में बिजली मूल्य बढ़ोतरी से प्राप्त राजस्व रुपये 11 हजार 500 करोड़ का 80 फीसद भार ग्रामीणों पर डाल दिया गया है। जिलाध्यक्ष ने बताया कि रालोद का पोल खोल, धावा बोल आंदोलन 13 जुलाई से प्रदेश में शुरू होगा। ज्ञापन देने वालों में ऋषिराज, देशराज, सनोज चौधरी, सुनील मलिक, देवेंद्र तोमर, बिजेंद्र ¨सह, हरेंद्र ¨सह, रणधावा मलिक, तिरसपाल मलिक, सत्यवीर पंवार, जितेंद्र मलिक, रजनीश कोरी, प्रवीण आदि शामिल रहे।