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सट्टा प्रदर्शन मेले में किसानों की भीड़, मौके पर भी हो रहा निस्तारण

पेराई सत्र से पहले किसानों की समस्याओं का समाधान करने के लिए सहकारी गन्ना विकास समिति स्तर पर सट्टा प्रदर्शन मेले का आयोजन किया जा रहा है। शनिवार को भी मेले में किसानों की भीड़ रही और काफी शिकायतों का मौके पर निस्तारण हुआ।

By JagranEdited By: Published: Sat, 25 Sep 2021 10:53 PM (IST)Updated: Sat, 25 Sep 2021 10:53 PM (IST)
सट्टा प्रदर्शन मेले में किसानों की भीड़, मौके पर भी हो रहा निस्तारण
सट्टा प्रदर्शन मेले में किसानों की भीड़, मौके पर भी हो रहा निस्तारण

जेएनएन, शामली। पेराई सत्र से पहले किसानों की समस्याओं का समाधान करने के लिए सहकारी गन्ना विकास समिति स्तर पर सट्टा प्रदर्शन मेले का आयोजन किया जा रहा है। शनिवार को भी मेले में किसानों की भीड़ रही और काफी शिकायतों का मौके पर निस्तारण हुआ।

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शामली और थानाभवन सहकारी गन्ना विकास समिति में 20 सितंबर से सट्टा प्रदर्शन मेला चल रहा है। ऊन समिति में 21 सितंबर से शुरू हुआ था। प्रतिदिन किसान आ रहे हैं और अपनी समस्या दर्ज करा रहे हैं। शुक्रवार तक की रिपोर्ट के अनुसार शामली समिति में 694, ऊन समिति में 187 और थानाभवन समिति में 244 शिकायतें आई हैं। कुल 1125 में से 504 का निस्तारण हो चुका है। जिला गन्ना विजय बहादुर सिंह ने बताया कि 30 सितंबर तक मेला चलेगा। शनिवार तक की रिपोर्ट देर शाम तक तैयार हो सकेगी। कोरोना संक्रमण से बचाव के लिए काउंटर ग्राम स्तरीय बनाए गए हैं। गन्ना रकबा संशोधन से जुड़ी शिकायतें अधिक हैं। किसानों से अपील है कि आनलाइन घोषणा पत्र भरने की प्रक्रिया को पूरा कर लें। अब शासन ने पहचान पत्र अपलोड करने की अनिवार्यता को खत्म कर दिया है। बताया कि मेले का उद्देश्य यह है कि पेराई सत्र शुरू होने से पहले किसानों की समस्याओं का समाधान हो जाए, जिससे उन्हें गन्ना आपूर्ति में कोई दिक्कत न हो। यह समस्या लेकर पहुंच रहे किसान

गन्ना रकबा संशोधन: मई से जुलाई तक गन्ने की फसल के क्षेत्रफल का सर्वेक्षण किया गया। काफी किसानों की समस्या यह है कि उनका रकबा कम दर्ज किया गया है, जिससे कच्चे कैलेंडर में उनकी पर्चियां कम हैं। साथ ही कुछ किसानों की यह भी दिक्कत है कि पेड़ी-पौधे के वास्तविक रकबे में भी अंतर है।

भूमि संशोधन: किसानों के सट्टे में कुल भूमि का क्षेत्रफल गलत दर्ज किया हुआ है। ऐसे में किसानों को दिक्कत रहती है। क्योंकि किसान गन्ने के अलावा भी गेहूं-धान की फसल लगाते हैं। गन्ना आपूर्ति साधन: कुछ किसान ट्रैक्टर-ट्राली तो कुछ किसान भैंसा-बुग्गी से गन्ने की आपूर्ति करते हैं। दोनों श्रेणी में आपूर्ति साधन के हिसाब से पर्चियां मिलती हैं। सट्टे में आपूर्ति साधन गलत दर्ज होने की भी समस्या है। साथ ही आधार कार्ड, मोबाइल नंबर, बैंक खाता नंबर सही कराने के लिए भी किसान आ रहे हैं।


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