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..आखिर पुलिस ने ले ही ली नामजद तहरीर

अभिषेक हत्याकांड में आखिर पुलिस ने मृतक के पिता आनंद मिश्रा से नामजद तहरीर दी है।

By JagranEdited By: Published: Wed, 24 Oct 2018 12:41 AM (IST)Updated: Wed, 24 Oct 2018 12:41 AM (IST)
..आखिर पुलिस ने ले ही ली नामजद तहरीर

शाहजहांपुर : अभिषेक हत्याकांड में आखिर पुलिस ने मृतक के पिता आनंद मिश्रा से नामजद तहरीर ले ही ली। आनंद मिश्रा अब तक यह कहते रहे कि वे अज्ञात में मुकदमा दर्ज कराना चाहते हैं, किसी निर्दोष को बेटे के कत्ल में सजा कराना उनका मकसद नहीं है, लेकिन मंगलवार की शाम को एएसपी दिनेश कुमार और सीओ सदर बल्देव सिंह कांट थाने पहुंचे। इसके बाद आनंद मिश्रा से बंद कमरे में बात की। तब आनंद मिश्रा ने दो लोगों के खिलाफ नामजद तहरीर दी है। अभिषेक की मौत पांच फिट की दूरी से गोली लगने से हुई थी। ऐसा पोस्टमार्टम रिपोर्ट में। पहले पुलिस आत्महत्या मानते हुए केस को रफादफा करना चाह रही थी। लेकिन पोस्टमार्टम रिपोर्ट पुलिस के लिए गले की हड्डी बन गई। इंस्पेक्टर मनोज कुमार तो पोस्टमार्टम रिपोर्ट को भी मानने को तैयार नहीं थे। मृतक के परिजनों को वे एक विशेषज्ञ के पास ले गए। विशेषज्ञ ने भी यही बताया कि यह आत्महत्या नहीं बल्कि हत्या है। तब इंस्पेक्टर ने केस को मर्डर माना। परिजन इसे शुरू से ही हत्या बता रहे थे, लेकिन अज्ञात के खिलाफ तहरीर दे रहे थे। उधर इंस्पेक्टर परिजनों पर नामजद तहरीर देने का दबाव बना रहे थे। लेकिन उन्होंने तहरीर नहीं दी। मंगलवार की शाम को एएसपी दिनेश कुमार, सीओ बल्देव सिंह और इंस्पेक्टर मनोज कुमार सिंह ने मृतक अभिषेक के पिता को बुलाया और एक बंद कमरे में उनसे करीब एक घंटे तक वार्ता की। तब आनंद मिश्रा ने थाना कांट के गुरथना गांव के सुनील और अपने नौकर रवि के खिलाफ नामजद तहरीर दी है। - पहले ना ना फिर अचानक हां कैसे

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आनंद मिश्रा बेटे की हत्या होने के बाद से अज्ञात लोगों के खिलाफ तहरीर देने के लिए थाने के चक्कर काट रहे थे, लेकिन इंस्पेक्टर नामजद तहरीर लेने पर आमादा थे। इस कारण तीन दिन बाद भी मुकदमा दर्ज नहीं किया जा सका। इसके बाद एएसपी और सीओ बल्देव सिंह थाने पहुंचे और मृतक के पिता से डेढ़ घंटे तक बंद कमरे में बात की तब तहरीर ली। अब आनंद मिश्रा भी सुनील को दोषी बता रहे हैं। - आखिर नामजद तहरीर के लिए क्यों व्याकुल थे अफसर

आज तक अधिकांश मुकदमें देखे गए हैं उनमें पुलिस तहरीर के आधार पर मुकदमा दर्ज कर लेती है, लेकिन इस मामले में पुलिस शुरू से मृतक के परिजनों पर नामजद तहरीर का दबाव बना रही थी। यह बात किसी के गले नहीं उतर रही है। इस प्रकरण में कहीं तो झोल है, जो पुलिस नामजद तहरीर लेकर पल्ला झाड़ने का प्रयास कर रही है। - काल डिटेल में भी हो सकता है खेल

पुलिस ने काल डिटेल के आधार पर दो लड़कियों को उठाया था, उनसे थाने में करीब दो घंटे तक वार्ता की, लेकिन निष्कर्ष नहीं निकला। क्या मृतक ने उन्हीं दो लड़कियों से वार्ता की थी। किसी अन्य व्यक्ति से मृतक की वार्ता नहीं हुई थी। इस संबंध में पुलिस अधिकारी भी कुछ नहीं बता पा रहे हैं।

-लेनदेन का लगाया आरोप

आनंद मिश्रा ने बताया कि अभिषेक ने अपने दोस्त को बाइक दिलाई थी। जिसके रुपये मांगने पर दोनों के बीच विवाद हुआ था। इसी के चलते उसके दोस्त ने अपने साथी के साथ मिलकर अभिषेक की हत्या कर दी। काल डिटेल में दो लड़कियों से बातचीत की बात सामने आई थी। इसी आधार पर दोनों लड़कियों को पूछताछ के लिये बुलाया गया था। मृतक के परिजनों की तहरीर के आधार पर मुकदमा दर्ज किया जायेगा।

दिनेश त्रिपाठी, एएसपी सिटी


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