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साढ़े चार घंटे बाद टूटा पुलिस का सब्र, किया लाठीचार्ज

पुलिस ने लाठीचार्ज किया।

By JagranEdited By: Published: Fri, 29 Mar 2019 12:07 AM (IST)Updated: Sun, 31 Mar 2019 06:26 AM (IST)
साढ़े चार घंटे बाद टूटा पुलिस का सब्र, किया लाठीचार्ज

जेएनएन, शाहजहांपुर: अजीजगंज तिराहा पर डंपर से मिठाई विक्रेता के कुचलने के बाद भी भीड़ नहीं हटी तो पुलिस का सब्र जवाब दे गया। साढ़े चार घंटे की मान मनौव्वल के बाद बवाल कर रहे लोगों को लाठियां फटकार कर खदेड़ा। हालांकि भीड़ ने भी पथराव किया, लेकिन कोई चोटिल नहीं हुआ। रात करीब एक बजे घटनास्थल पर हालात सामान्य हो पाए। मामले की गंभीरता को देखते हुए मौके पर पुलिस फोर्स तैनात कर दिया गया। गुरुवार को पुलिस सुरक्षा में शव का अंतिम संस्कार किया गया।

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चौक कोतवाली क्षेत्र के मुहल्ला अजीजगंज निवासी मिठाई विक्रेता दिव्यांग 50 वर्षीय सुधीर गुप्ता अपने पोते और पोती के लिए घर से कुछ चीज लेने निकले थे। तभी गर्रा नदी से बालू खनन करके आ रहे डंपर से कुचलकर मौत हो गई थी। इसके बाद मृतक के परिजनों ने सड़क पर शव रखकर जाम लगा दिया था। घटना के बाद प्रशासन और पुलिस के अधिकारी मौके पहुंच गए थे। करीब चारों थानों फोर्स के साथ अतिरिक्त पुलिस बल बुला लिया गया था। अधिकारी लगातार भीड़ को समझाने का प्रयास कर रहे थे, लेकिन वह भिड़ने पर अमादा थे। रात करीब 11.00 बजे एडीएम प्रशासन नरेंद्र सिंह व एएसपी सिटी दिनेश त्रिपाठी मौके पर पहुंचे। उन्होंने भीड़ को समझाने का प्रयास किया, लेकिन भीड़ उग्र होती जा रही थी। इसको देखते हुए अधिकारियों के निर्देश पर पुलिस कर्मियों ने बवाल करने वालों पर लाठीचार्ज शुरू कर दिया। फोर्स ने उनको मौके से काफी दूर तक खदेड़ दिया। उपद्रवियों ने पुलिस पर पथराव भी किया। मौके पर काफी देर अफरा-तफरी मची रही। लेकिन अधिकारियों ने मामले को कंट्रोल कर लिया।

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नेतागिरी करने वालों अधिकारियों ने हड़काया

कुछ लोग नेता भीड़ के बीच पहुंच गए। पुलिस समझाने का प्रयास कर रही थी, लेकिन वह मामले को बिगाड़ रहे थे। कोई कह रहा था कि मृतक के परिजनों को 20 लाख मुआवजा दिया जाए तो कोई कह रहा था कि 50 लाख मुआवजा के साथ एक बेटे को सरकारी नौकरी और खनन बंद किया जाए। भीड़ डीएम को मौके पर बुलाकर अपनी मांगे मनवाना चाह रहीं थी। अधिकारियों ने नेतागिरी करने वाले लोगों तो हड़काकर ठीक कर दिया। बाद में शहर के एक नामी उद्योगपति को मामले में समझौते के लिए बुलाया गया, लेकिन इसके बाद भी बात नहीं बनी तो अधिकारियों का पारा हाई हो गया। बस फिर क्या था। दूर-दूर तक कोई दिखाई नहीं दिया।

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लाठीचार्ज होते ही पुलिस कर्मियों ने शव रखा एंबुलेंस में

लाठीचार्ज का आदेश मिलते ही पुलिस कर्मी भीड़ पर टूट पड़े। इस बीच पुलिस की एक टीम ने शव को कब्जे में लेकर एंबुलेंस में रख दिया, लेकिन एंबुलेंस का चालक गायब हो गया। पुलिस कर्मी काफी दूर तक एंबुलेंस पैदल ही दौड़ाते ले गए। बाद में एक पुलिस कर्मी ने एंबुलेंस खुद चलाई और शव को पोस्टमार्टम हाउस तक पहुंचाया।

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वर्जन:

शासन से जिन योजनाओं का लाभ मिल सकता है उनकी पात्रता देखते हुए पीड़ित परिवार को मदद दी जाएगी।

- वेद सिंह चौहान, एसडीएम सदर


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