सरकार को किसानों की कोई चिता नहीं : रुद्रसेन
समाजवादी पार्टी के जिलाध्यक्ष चौधरी रुद्रसेन ने कहा कि कृषि कानूनों के खिलाफ किसान कड़ाके की ठंड में खुले आसमान के नीचे आंदोलन कर रहे हैं। मगर सरकार को किसानों की कोई चिता नहीं है। समाजवादी पार्टी इसे किसी भी सूरत में बर्दाश्त नहीं करेगी। उन्होंने कहा कि 26 जनवरी गणतंत्र दिवस पर सपा कार्यकर्ता अपने ट्रैक्टर लेकर सभी तहसील मुख्यालयों पर पहुंचेंगे तथा केंद्र व उत्तर प्रदेश की गूंगी-बहरी भाजपा सरकारों को चेताने का काम करेंगे।
सहारनपुर जेएनएन। समाजवादी पार्टी के जिलाध्यक्ष चौधरी रुद्रसेन ने कहा कि कृषि कानूनों के खिलाफ किसान कड़ाके की ठंड में खुले आसमान के नीचे आंदोलन कर रहे हैं। मगर सरकार को किसानों की कोई चिता नहीं है। समाजवादी पार्टी इसे किसी भी सूरत में बर्दाश्त नहीं करेगी। उन्होंने कहा कि 26 जनवरी गणतंत्र दिवस पर सपा कार्यकर्ता अपने ट्रैक्टर लेकर सभी तहसील मुख्यालयों पर पहुंचेंगे तथा केंद्र व उत्तर प्रदेश की गूंगी-बहरी भाजपा सरकारों को चेताने का काम करेंगे।
समाजवादी पार्टी के जिलाध्यक्ष चौधरी रुद्रसेन ने पार्टी कार्यालय पर आयोजित बैठक को संबोधित करते हुए कहा कि वर्तमान गन्ना पेराई सत्र आधे से अधिक गुजर चुका है। इसके बावजूद अभी तक राज्य सरकार द्वारा गन्ने का न्यूनतम समर्थन मूल्य घोषित नहीं किया गया है जो किसानों के साथ सरासर नाइंसाफी है। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार अविलम्ब गन्ना मूल्य 400 रुपये प्रति कुंतल घोषित करे। जिला उपाध्यक्ष सुहेल राणा, चौ. अब्दुल गफूर, महिला सभा की जिलाध्यक्ष महजबी खान ने कहा कि भाजपा सरकारों की जनविरोधी नीतियों से जनता त्रस्त है। इस दौरान जिला उपाध्यक्ष हसीन कुरैशी, जिला सचिव कुलदीप यादव, इसरार प्रमुख, जिला उपाध्यक्ष सोनू चौधरी, चौधरी प्रवीण बांदुखेडी, राव वजाहत समेत अनेक कार्यकर्ता मौजूद रहे।
केंद्र सरकार से वार्ता कर समस्या का हल निकाले किसान संगठन : त्यागी
सहारनपुर। भारतीय किसान संघ के प्रदेश संयोजक श्यामवीर त्यागी ने कहा कि दिल्ली में आंदोलनकारी किसानों को सरकार से वार्ता कर समस्या का हल निकालना चाहिए।
गुरुवार को जारी बयान में श्यामवीर त्यागी ने कहा की जब केंद्र सरकार कृषि कानून पर पीछे हटने को तैयार है। तो ऐसी स्थिति में किसान संगठनों को भी आंदोलन को समाप्त करते हुए सरकार से बातचीत कर समस्या का हल निकालना चाहिए। उन्होंने कहा गणतंत्र दिवस राष्ट्रीय पर्व है, जिसे सभी भारतवासी मिलकर मनाते हैं। ऐसी स्थिति में किसान संगठनों को दिल्ली के अंदर गणतंत्र दिवस के दिन ट्रैक्टर रैली नहीं निकालनी चाहिए।