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समर्थकों के बीच चक्कर खाकर गिरे चंद्रशेखर

सहारनपुर : भीम आर्मी के संस्थापक चंद्रशेखर आजाद की तबीयत बिगड़ गई और वह समर्थकों के

By JagranEdited By: Published: Sun, 16 Sep 2018 10:55 PM (IST)Updated: Sun, 16 Sep 2018 10:55 PM (IST)
समर्थकों के बीच चक्कर खाकर गिरे चंद्रशेखर
समर्थकों के बीच चक्कर खाकर गिरे चंद्रशेखर

सहारनपुर : भीम आर्मी के संस्थापक चंद्रशेखर आजाद की तबीयत बिगड़ गई और वह समर्थकों के बीच चक्कर खाकर गिर पड़े। परिजन उन्हें घर के अंदर ले गए और बिस्तर पर लिटा दिया।

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भाजपा के खिलाफ राजनीतिक लड़ाई का एलान कर चुके चंद्रशेखर से मिलने वालों का तांता लगा हुआ है। रविवार सुबह रामनगर में उन्होंने लोगों से बात की और घर लौट गए। यहां मुजफ्फरनगर, शामली, सहारनपुर, मेरठ सहित कई शहरों से समर्थक और भीम आर्मी के कार्यकर्ता मौजूद थे। सभी ने फोटो खिंचवाने की जिद की तो चंद्रशेखर ने सभी को अलग-अलग समूह में बांट दिया। इसी दौरान वह समर्थकों के बीच चक्कर खाकर गिर पड़े। इससे वहां अफरातफरी मच गई। समर्थक व परिजन उन्हें तुरंत अंदर ले गए और पंखे के नीचे लिटाया। बड़े भाई भगत ¨सह ने बताया कि पिछले तीन से लगातार बोलने और नींद पूरी नहीं होने के कारण उनकी तबीयत बिगड़ गई थी। एडवोकेट आर्गेनाइजेशन ने की मुलाकात

: रविवार को दिल्ली से एडवोकेट सम्राट के साथ ऑल इंडिया एससीएसटी एडवोकेट आर्गेनाइजेशन का प्रतिनिधिमंडल भी चंद्रशेखर से मिलने पहुंचा। संगठन के प्रधान जेवी ¨सह, उपाध्यक्ष अशोक कुमार, परमानंद, महामंत्री त्रिलोक ¨सह, एसवी आनंद, प्रचार मंत्री प्रकाश केन तथा सदस्य परमानंद ने सहयोग और समर्थन का भरोसा दिलाया। जल्द ही केंद्र सरकार के खिलाफ दिल्ली में बड़ा प्रदर्शन किया जाएगा। एडवोकेट सम्राट ने इसमें शामिल होने के लिए चंद्रशेखर को निमंत्रण भी दिया। अब 'रावण' नाम से चिढ़

सहारनपुर : चंद्रशेखर आजाद ने रविवार को खुद को रावण के संबोधन पर आपत्ति जताई। उन्होंने कहा कि मैं अनुसूचित जाति से हूं और रावण ब्राह्मण थे। फेसबुक पर भाजपा के लोग रावण का वध करने की बात कह रहे हैं, यदि भविष्य में किसी ने भी मुझे रावण कहा तो मैं उनके खिलाफ मुकदमा लिखवा दूंगा। रविवार सुबह वह रामनगर निवासी भीमआर्मी के जिलाध्यक्ष कमल वालिया के घर पहुंचे थे। यहां उन्होंने कहा कि पिछले दो साल से लोग उन्हें रावण के नाम से पुकारते हैं। चंद्रशेखर ने स्पष्ट कहा कि मेरा नाम रावण नहीं है, यह नाम मीडिया ने दिया। इस पर मुझे सख्त आपत्ति है। भाजपा वाले रावण का वध करने की बात कह रहे हैं, यह अच्छी बात है। रावण राक्षस था, उसका वध होना चाहिए। मीडिया ने उन्हें इतना मशहूर कर दिया है कि मेरे साथी भी मुझे रावण कहने लगे हैं, यह मुझे पसंद नहीं। उधर, भाजपा पार्षद ज्योति अग्रवाल प्रणामी ने अपनी फेसबुक वॉल पर लिखा है कि 'मैंने सुना है भीमटो का रावण जेल से रिहा हुआ है, वैसे विजय दशमी भी नजदीक ही है' इस पोस्ट पर लोगों के कमेंट भी खूब आ रहे हैं।


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