जिला पंचायत सदस्य पति छत्रपाल ने ही रची थी अनुराग शर्मा के कत्ल की साजिश
शिव सेना के पूर्व जिला संयोजक अनुराग शर्मा के कत्ल का पुलिस ने नौ दिन बाद पर्दाफाश कर दिया।
रामपुर, जेएनएन। शिव सेना के पूर्व जिला संयोजक अनुराग शर्मा के कत्ल का पुलिस ने नौ दिन बाद पर्दाफाश कर दिया। हत्या की साजिश रचने वाला उनका सबसे करीबी छत्रपाल यादव ही निकला। आरोपित छत्रपाल बजरंग दल का पूर्व जिला संयोजक और भाजपा का पूर्व जिला मंत्री भी रहा है। वर्तमान में उसकी पत्नी जिला पंचायत सदस्य है। उसने अपने भाई और दो अन्य साथियों की मदद से हत्या कराई थी। पुलिस का ध्यान भटकाने के लिए खुद ही हत्या की घटना में मुख्य गवाह बन गया। इतना ही नहीं, चार दिन बाद अपने घर पर भी फायरिग का ड्रामा किया। पुलिस ने छत्रपाल समेत चारों को गिरफ्तार कर लिया है। हत्या के पीछे बदला और वर्चस्व की लड़ाई की बात सामने आई है।
हत्या की यह वारदात 20 मई की रात की है। ज्वालानगर आगापुर रोड निवासी अनुराग शर्मा घटना की रात स्कूटी से घर जा रहे थे। बाइक सवार बदमाशों ने उनका पीछा किया और सुनसान जगह पहुंचने पर उन्हें गोली मार दी थी। अनुराग शर्मा की पत्नी सभासद शालिनी शर्मा ने हत्या की रिपोर्ट दर्ज कराई थी। तब मुकदमा अज्ञात में दर्ज हुआ और पुलिस जांच में जुट गई। शुक्रवार को पुलिस ने घटना का पर्दाफाश कर दिया। पुलिस अधीक्षक शगुन गौतम ने बताया कि हत्या की साजिश अनुराग के ही करीबी रहे दुर्गा कालोनी आगापुर रोड निवासी छत्रपाल यादव ने रची थी। इसके लिए उसने दो ऐसे लोगों को शामिल किया, जो पहले से अनुराग से दुश्मनी मानते थे। इनमें एक नूरमहल आवास विकास कालोनी का राजकिशोर उर्फ दुरिया है, जिसने पहले भी अनुराग शर्मा की हत्या का प्रयास किया था। तब इलाज के बाद अनुराग की जान बच गई थी। दूसरा ज्वालानगर गड्डा कालोनी का बाबू उर्फ हिमांशु पुत्र हेमंत है। बाबू के पिता की हत्या अनुराग के करीबी रहे सुनील यादव ने की थी। छत्रपाल ने दोनों को उकसाया और उन्हें अपने भाई पवन यादव की मदद से हथियार और बाइक उपलब्ध कराई। राजकिशोर और बाबू ने छत्रपाल के कहने पर अनुराग की हत्या कर दी। पुलिस ने चारों को गिरफ्तार कर लिया। हत्या में प्रयुक्त तमंचे और बाइक भी बरामद कर ली है। इस हत्या के चार दिन बाद छत्रपाल ने अपने ऊपर फायरिग की फर्जी रिपोर्ट भी दर्ज कराई थी। पुलिस ने चारों को कोर्ट के आदेश पर जेल भेज दिया है।