मिट्टी गायब और गिट्टी भी कम, कैसे हो समतलीकरण
रायबरेली : लखनऊ-प्रयागराज हाईवे का फुटपाथ बुधवार से खोदा पड़ा है। शनिवार की सुबह उसम
रायबरेली : लखनऊ-प्रयागराज हाईवे का फुटपाथ बुधवार से खोदा पड़ा है। शनिवार की सुबह उसमें सड़क से निकली बजरी डालकर समतलीकरण का काम शुरू हुआ। इसका स्थानीय व्यापारियों ने विरोध कर दिया। जिसके बाद गड्ढों की भराई कर रहे कर्मचारी काम बंद कर चले गए। अभी भी हाईवे किनारे नाला सरीखा खोदा पड़ा है, जिसकी वजह से आवागमन बुरी तरह प्रभावित हो रहा है।
कुंभ के मद्देनजर प्रशासन ने शहर के भीतर हाईवे के दोनों ओर अतिक्रमण हटाने के साथ यथा संभव मार्ग चौड़ीकरण का काम शुरू कराया। इसी के तहत राजमार्ग के एक किनारे सारस होटल से लेकर सिविल लाइंस तक पटरी खोद दी गई। नियम ये है कि खोदाई के साथ समतलीकरण का काम भी होते रहना चाहिए। मगर यहां तो प्रशासन आंखे ही मूंदे बैठा है। दैनिक जागरण ने शनिवार के अंक में इस समस्या को प्रमुखता से उठाया। जिस पर एनएच के कर्मी सुबह ही सारस होटल पर आ डटे। हाईवे की एक पटरी से निकले कंकरीट को उठाकर समतलीकरण का काम शुरू कराया गया। लेव¨लग न होने से पहले से समतल फुटपाथ उबड़ खाबड़ हो गया। इसका स्थानीय व्यापारियों ने विरोध शुरू कर दिया।
यह काम करा रहे सुपरवाइजर बृजेश कुमार से जब व्यापारियों ने पूछा कि किसके कहने से पटरी खोदी और किसके कहने से इसे बराबर करने की खानापूरी कर रहे हो। तो बृजेश कोई जवाब नहीं दे सके और एनएच कर्मियों को लेकर चले गए। शनिवार को भी लगभग एक किमी तक खोदे गए गड्ढों को भरा नहीं जा सका। इसकी वजह से यातायात व्यवस्था प्रभावित रहा। स्थानीय रमन मिश्र, सुरेंद्र तिवारी, मानस तिवारी, अर्पित मिश्र आदि ने नियम के अनुरूप पटरी का समतलीकरण कराने की मांग जिलाधिकारी से की है। ये है नियम
हाईवे की पटरी को सड़क के बराबर तक समतल करने के लिए जीएसबी यानी गिट्टी और डस्ट का मिक्स्चर डाला जाना चाहिए। मगर यहां सड़क उधड़ने पर निकलने वाला कंकरीट डाला जा रहा है। जब पटरी खोदी गई थी तो उसकी मिट्टी अन्यत्र कहीं भेज दी गई। अब मिट्टी भी नहीं है और गिट्टी भी। ऐसे में नाला सरीखा गड्ढा हादसों को दावत दे रहा है।