कचहरी में बंदियों ने किया हंगामा, नारेबाजी
प्रतापगढ़ जेलर पर पक्षपातपूर्ण कार्रवाई का आरोप लगाते हुए मंगलवार को कचहरी में बंदियो
प्रतापगढ़ : जेलर पर पक्षपातपूर्ण कार्रवाई का आरोप लगाते हुए मंगलवार को कचहरी में बंदियों ने जमकर हंगामा किया। बंदी प्रिजन वैन से नीचे नहीं उतर रहे थे। बवाल देख आधा दर्जन थानों की फोर्स बुला ली गई। लगभग 50 मिनट बाद बंदियों को प्रिजन वैन से उतारकर फोर्स लॉकअप में ले गई।
भोजन गुणवत्तापूर्ण न होने का आरोप लगाकर बंदियों ने जेल में सोमवार शाम तक भूख हड़ताल कर दी थी। बाद में पहुंची कई थानों की फोर्स ने बंदियों की जमकर पिटाई की थी। इससे बंदियों में खासा आक्रोश था। मंगलवार दिन में लगभग 11 बजे नान्हू, शहनवाज, चांद समेत लगभग दो दर्जन बंदियों को प्रिजन वैन से कोर्ट में पेशी के लिए कचहरी लाया गया। गाड़ी खड़े होते ही बंदी जेलर के खिलाफ नारेबाजी करते हुए हंगामा करने लगे।
बंदियों का आरोप था कि गुणवत्तायुक्त भोजन नहीं दिया जाता है। जेलर कार्रवाई करने में पक्षपात करते हैं। जिस बंदी को चाहते हैं, उसे मोबाइल पर बात करने की छूट देते हैं और दूसरे बंदियों को तलाशी के नाम पर परेशान करते हैं। आए दिन आधी रात तलाशी के नाम पर जगा दिया जाता है। जेलर उनका उत्पीड़न करते हैं। यही सब आरोप लगाते हुए बंदियों ने प्रिजन वैन से उतरने से इन्कार कर दिया। सूचना पाकर नगर कोतवाली पुलिस के साथ कोहंड़ौर, कंधई, अंतू समेत कई थानों की फोर्स कचहरी पहुंची। आरआइ शैलेंद्र सिंह भी पहुंच गए। फोर्स की संख्या बढ़ती देख बंदी शांत हो गए। फिर एक-एक करके बंदियों को गाड़ी से नीचे उतारकर लॉकअप में ले जाया गया। इसके बाद बंदियों की कोर्ट में पेशी कराई गई और दोपहर बाद उन्हें जेल में दाखिल कर दिया गया।
जेल में बंदियों को पुलिस ने पीटा, आठ बंदी रहे भूख हड़ताल पर : भूख हड़ताल करके हंगामा कर रहे बंदियों को सोमवार की रात पुलिस ने जमकर पीटा था। हर बैरक से बंदियों को निकालकर पिटाई की गई थी। इसके विरोध में मंगलवार को आठ बंदी भूख हड़ताल पर रहे।
दो दिन से जेल में तलाशी अभियान चलाया जा रहा था। कुछ प्रभावशाली बंदियों का मोबाइल जब्त कर लिया गया था। मोबाइल की सुविधा न मिलने का आरोप बंदी नहीं लगा सकते थे। ऐसे में बंदियों ने भोजन को मुद्दा बनाकर सोमवार की शाम भूख हड़ताल कर दिया था। जेल प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी की थी। बवाल की आशंका पर दस थानों की फोर्स और पीएसी लेकर सीओ सिटी जेल में प्रवेश कर गए। जेल के अफसरों के साथ पुलिस आगे बढ़ी तो बंदियों ने टमाटर, बर्तन फेंकना शुरू कर दिया। इसी बीच एएसपी पूर्वी अवनीश मिश्र जेल पहुंच गए और फिर हंगामा कर रहे बंदियों को पुलिस ने जमकर पीटा। हर बैरक से लगभग 20-20 बंदियों को बाहर निकालकर पिटाई की गई। इसके बाद सभी बंदियों को बैरक में बंद करा दिया गया। मंगलवार को पेशी पर आए नान्हू, शहनवाज आदि ने आरोप लगाया कि पुलिस की पिटाई से उनके अलावा रोहित, अभिमन्यु तिवारी, मोहम्मद जैद, राजू सिंह, पिटू सिंह, राजेंद्र, हरेंद्र चोटिल हुए हैं। कुंडा के चांद का सिर फट गया, उसे जेल अस्पताल में भर्ती कराया गया है। उनका कहना था कि सोमवार रात से किसी बंदी ने खाना नहीं खाया है। उधर, मंगलवार दोपहर भी बंदी खाना लेने में आनाकानी कर रहे थे। जेलर आरपी चौधरी, डिप्टी जेलर संजय द्विवेदी ने किसी तरह अधिकांश बंदियों को खाना लेने के लिए मनाया। आठ बंदियों ने मंगलवार दोपहर भी भूख हड़ताल जारी रखी और भोजन लेने से इन्कार कर दिया। इस बारे में जेलर आरपी चौधरी का कहना है कि खाने में किसी तरह का समझौता नहीं किया जाता है। गुणवत्तायुक्त भोजन दिया जाता है। तलाशी को लेकर बंदियों में नाराजगी हो सकती है।
कैंटीन को कराया बंद : जेल में चल रही कैंटीन से बंदियों को काफी सुविधा मुहैया हो जाती है। कैंटीन के सामान के साथ मोबाइल, शराब, मीट बंदियों तक पहुंच जाता था। इसके लिए कैंटीन संचालक बंदियों से मोटी रकम वसूल करता है। सोमवार को बंदियों द्वारा किए गए बवाल के बाद जेलर ने कैंटीन को बंद करा दिया। जेलर आरपी चौधरी ने बताया कि कैंटीन को लेकर शिकायतें मिल रहीं थीं। इसलिए कैंटीन को बंद करा दिया गया है।